-बजट पूर्व संगोष्ठी का विभागवार खाका सरकार को सुपुर्द

- प्राथमिकता के आधार पर चयनित हुए थे 806 सुझाव, इसमें से 38 का किया गया चयन

रांची : राज्य के समेकित विकास की प्राथमिकताएं तय करने के लिए बजट पूर्व हुई संगोष्ठी से निकलकर आए सुझावों का खाका सरकार ने तैयार कर लिया है। मुख्यमंत्री के नेतृत्व में पिछले दिनों प्रमंडलों की दौड़ लगाने वाली सरकार को इस दौरान 806 सुझाव प्राप्त हुए थे। समाज के लगभग सभी तबके के प्रतिनिधित्व वाली इस संगोष्ठी में उभर कर आए विचारों की एकरूपता और उसकी विविधता को देखते हुए सरकार ने इस सुझावों को छह सेक्टरों में बांटा है। प्राथमिकता के हिसाब से तय इन सुझावों को आगामी वित्तीय वर्ष के बजट का हिस्सा बनाने की तैयारी है। प्रमंडलवार आए इन सुझावों में से सरकार ने 38 का चयन उनके महत्वों को देखते हुए किया है।

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शिक्षा

-शिक्षकों की कमी दूर करने के लिए अवकाशप्राप्त शिक्षकों/प्रधानाध्यापकों की अल्प मानदेय पर सेवा ली जाए।

- विद्यालयों- महाविद्यालयों में योग शिक्षा पर दें जोर।

- कस्तूरबा विद्यालयों में प्रत्येक 15 दिनों में लगे स्वास्थ्य शिविर।

- महिला महाविद्यालयों के पास महिला छात्रावास निर्माण पर हो जोर।

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कृषि

-सब्जी उत्पादक प्रक्षेत्रों में बने कोल्ड स्टोरेज। सब्जियों को भी लाया जाए कृषि बीमा के दायरे में।

-बीज प्रसंस्करण एवं फूड प्रोसेसिंग यूनिट की हो स्थापना।

-पाकुड़, साहिबगंज एवं निकटवर्ती क्षेत्रों में मिले लहसुन और प्याज की खेती को बढ़ावा।

-देवघर और सिमडेगा में मिले फूलों की खेती को प्रोत्साहन।

-दुमका में लगे रेशम प्रसंस्करण इकाइयां, लाह फार्म को मिले पुनर्जीवन।

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ग्रामीण विकास

-हर पंचायत में औसतन दो लाख की लागत से बने पार्क।

-नदी-नालों पर बने चेक डैम। पुल-पुलियों का निर्माण कर गांवों को प्रखंड मुख्यालय से करें कनेक्ट।

-ग्राम विकास समिति और आदिवासी विकास समिति के माध्यम से हो विकास कार्यो का संचालन।

-सोलर लाइट से रोशन हो गांव-गिरांव की गलियां।

-सखी मंडलों के माध्यम से हो सैनिटरी नैपकिन का उत्पादन।

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आदिवासी कल्याण

-आदिवासी बहुल सभी इलाकों तक पहुंचे वनबंधु योजना। सुनियोजित तरीके से हो विकास।

-आदिवासी क्षेत्रों में हो ओल्ड एज होम की स्थापना।

-गठित हो महुआ, चिरौंजी आदि की प्रसंस्करण इकाइयां।

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पर्यटन

-छऊ को मिले राजकीय महोत्सव का दर्जा।

-हर शहर में बने दादा-दादी पार्क।

-इटखोरी, रजरप्पा, मसानजोर, अंजनधाम, लुगुबुरू का वृहद पैमाने पर हो विकास।

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विविध

-विश्वविद्यालय स्तर पर हो स्टार्टअप कोषांग की स्थापना।

-बड़े जिला मुख्यालयों में लाइब्रेरी कम मोटिवेशन सेंटर हो स्थापित।

-जमशेदपुर, दुमका एवं चाईबासा में बने प्रेस क्लब।

-लघु एवं कुटीर उत्पादों की मार्केटिंग के लिए देवघर तथा रांची में झारखंड इंपोरियम की हो स्थापना।

-रांची में हो अनाथ विद्यालय की स्थापना।

-स्थानीय भाषा में सरकारी योजनाओं का हो प्रचार-प्रसार।

-पूरे राज्य में संचालित हों गिफ्ट मिल्क योजना।

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