- सीमा उपाध्याय द्वारा आचार संहिता उल्लंघन मामले में फंस गई बीएसपी

- मजिस्ट्रेट और सीओ की संयुक्त रिपोर्ट में सामने आया मामला

- इसको माना जा रहा है आचार संहिता का उल्लंघन

AGRA। बसपा की बंद दरवाजे के पीछे की मीटिंग को लेकर एडमिनिस्ट्रेशन सख्त हो गया है। आचार संहिता निगरानी के लिए पहुंची टीम को काम नहीं करने देने को सरकारी काम में बाधा पहुंचाने की श्रेणी में रखा गया है। मजिस्ट्रेट और सीओ अपनी रिपोर्ट जिला निर्वाचन ऑफिस को सौंप चुके हैं। जिसके बाद बीएसपी जिलाध्यक्ष आजाद सिंह को नोटिस इश्यु किया गया है। थर्सडे को बीएसपी जिलाध्यक्ष की ओर से इस मामले में अपना जबाव दाखिल कर दिया गया है।

आड़ जेड श्रेणी की

आदर्श आचार संहिता अनुपालन के प्रभारी अधिकारी और एडीएम सिटी के अनुसार बीएसपी की ओर से फतेहपुर सीकरी संसदीय सीट से प्रत्याशी सीमा उपाध्याय के आवास पर कार्यकर्ता सम्मेलन की अनुमति के बाद बंद दरवाजे में आयोजन किया जा रहा था। टीम पहुंची तो बंद दरवाजे की वजह से वीडियो रिकॉर्डिग नहीं हो सकी। टीम को कार्यक्रम आयोजन को मॉनिटर नहीं करने दिया गया। इसी मामले में बीएसपी जिलाध्यक्ष को नोटिस इश्यु कर जबाव मांगा गया था। बसपा की ओर से जवाब में कहा गया कि सुरक्षा के लिए जेड श्रेणी की सुरक्षा प्राप्त होने की वजह से किसी को भी सीधे अंदर नहीं जाने दिया जाता है।

दबाव में है प्रशासन

एडीएम सिटी के अनुसार बीएसपी जिलाध्यक्ष की ओर से दाखिल किए जवाब में कहा गया है कि पुलिस और प्रशासन के दबाव में काम हो रहा है। उधर कार्यकताओं को खाना खिलाने के आरोप पर जवाब में कहा गया कि खाना तो प्रोग्राम में आए कार्यकर्ता अपने साथ लेकर आए थे। एडीएम सिटी के अनुसार इस जवाब का विधिक परीक्षण किया जा रहा है।