- पिछले छह महीने में 58 से अधिक हुई लूट

- डीजीपी की वेब बेस्ड क्राइम मैपिंग में खुलासा

आगरा। ताज नगरी अब लूट नगरी बनती जा रही है। सिटी में हर तीसरे दिन में एक लूट की वारदात हो रही है। लूट का यह ग्राफ लगातार बढ़ रहा है। पिछले छह महीनों में पुलिस रिकॉर्ड में 58 से ज्यादा लूट की वारदातें दर्ज की गई हैं। लेकिन सच्चाई ये हैं, छोटी-मोटी लूट की घटनाओं को तो पुलिस छिपा जाती है। जो घटनाएं उजागर हो जाती हैं, उनको पुलिस को दर्ज करना पड़ता है। वहीं, दूसरी ओर जिले में गूगल क्राइम मैपिंग भी क्राइम कंट्रोल में सफल नहीं हो पा रहा है।

प्रदेश में आगरा लूट में तीसरे स्थान पर

डीजीपी जावीद अहमद की वेब बेस्ड क्राइम मैपिंग सॉफ्टवेयर की समीक्षा में निकलकर आया है कि प्रदेश में आगरा लूट की वारदातों में तीसरे स्थान पर है। पिछले छह महीने में 58 से ज्यादा लूट की वारदातें सामने आई हैं। आगरा जोन में फीरोजाबाद और अलीगढ़ में भी लूट की वारदातों में इजाफा हुआ है। डीजीपी ने संबंध में डीआईजी अजय मोहन शर्मा को पत्र लिखकर लूट वाले स्थानों को चिह्नांकित कर पुलिस पिकेट तैनात करने के निर्देश दिए हैं। गौरतलब है कि आगरा में अभी गूगल क्राइम मैपिंग का काम अधूरा पड़ा हुआ है।

ये दिन लूट के लिए मुफीद

लुटेरे लूट के लिए सप्ताह में तीन दिनों को अपने लिए मुफीद मानते हैं। वे अधिकतर लूट की वारदातों को सोमवार, मंगलवार और शुक्रवार को अंजाम देते हैं।