थाना सिकंदरा ने पकड़ा साइबर अपराधी

एटीएम का क्लोन बना कर पार करते हैं रुपये

आगरा। मदद के नाम पर लोगों के एटीएम का क्लोन बनाने वाला मास्टर माइंड पुलिस के हाथ लगा है। कमर में स्कैनिंग मशीन लगाकर शातिर कार्ड को कॉपी किया करते हैं। पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर मार्केटिंग मैनेजर के शागिर्द को जेल भेजा है। अन्य शातिरों की तलाश कराई जा रही है।

एटीएम के पास से पकड़ा

पुलिस के मुताबिक 12 अगस्त को पुलिस सिकंदरा पर चेकिंग चल रही थी। उस दौरान मुखबिर की सूचना पर कैनरा बैंक शास्त्रीपुरम से एक साइबर के शातिर को पकड़ा जबकि उसके तीन साथी भागने में सफल रहे। पकड़े गए शातिर का नाम शरद मिश्रा पुत्र राधेश्याम निवासी गांव कोपा थाना मनकपुर जिला गोण्डा व फरार के नाम तरुण पांडेय उर्फ विट्टू पुत्र रामउजागिरी दिल्ली, आशीष व एक अन्य बताए गए हैं।

शिकार की तलाश में खड़ा था

पुलिस ने बताया कि पकड़ा गया शातिर कैनरा बैंक के एटीएम शास्त्रीपुरम में शिकार की तलाश में खड़ा था, तभी पुलिस ने घेराबंदी कर पकड़ लिया। पुलिस के मुताबिक शातिर ने पूछताछ में बताया कि वह लोग कमर में स्कीमर मशीन लगाकर चलते हैं। एटीएम के अंदर शूट, बूट पहन कर खड़े होते हैं, जिससे कि किसी को भी उन पर शक न हो।

मदद के नाम पर करते हैं डाटा चोरी

एटीएम पर यदि किसी का रुपया नहीं निकलता और यदि कोई दिक्कत आती है तो यह शातिर मदद करने को आगे आ जाते हैं। इनका पहनावा व बोलचाल देखकर लोग झांसे में आ जाते हैं और इसी के बाद शातिर किसी तरह से कमर में लगे स्कैनर से कार्ड को कॉपी करते हैं और बाद में डाटा कम्प्यूटर में डाल कर क्लोन तैयार कर लेते हैं।

पुलिस ने बरामद किया माल

पुलिस ने शातिर के पास से एक तमंचा, दो कारतूस, दस हजार रुपये, एक स्कैनिंग मशीन, 150-200 एटीएम जिनमें से 32 एक्टीवेट हैं। दो मोबाइल, एक बेल्ट, एक मारुती कार, एक काला बैग, एक वीसीडी, डाटा केबिल, दो हेड क्लीनर पासबुक सामान बरामद किया है।

सीनियर की शार्गिदी में सीखी जालसाजी

पुलिस ने बताया कि शरद ने गणित में स्नातक की पढ़ाई की है। दिल्ली की एक बैंक में वह मार्केटिंग का काम देखता था। तरुण पांडेय इसका सीनियर था। पुलिस के मुताबिक शरद ने तरुण से ही कार्ड क्लोनिंग की कलाकारी सीखी थी।

अब तक लाखों रुपये निकाले

पूछताछ में निकलकर आया कि शातिरों ने अब तक 20 से 25 लाख रुपये एटीएम क्लोन कर निकाले हैं, जिसमें से शरद को पांच लाख रुपये मिले हैं। इस मामले में एक शातिर दिल्ली जेल में बंद बताया गया है।

32 एकाउंट लुटने से बचे

पुलिस ने जो 32 एटीएम क्लोन बरामद किए हैं। शातिर ने उन्हें एक्टीवेट कर लिया था, लेकिन वह उनका यूज नहीं कर सके। इन एटीएम के खाता धारकों को फोन कर पुलिस ने सूचना दी है। पुलिस के मुताबिक अधिकतर लोग राजस्थान के निकल रहे हैं। शातिर ने तीन महीने पहले से ही यह काम शुरु किया है।