कानपुर विश्वविद्यालय से सम्बद्ध इलाहाबाद के लॉ कॉलेज के ज्यादातर छात्र हो गए हैं फेल
आरोप, कापियों की फेयर मार्किंग नहीं हुई, फिर से जंचवाने की मांग
कानपुर विश्वविद्यालय से सम्बद्ध इलाहाबाद के लॉ कॉलेजों के छात्र यूनिवर्सिटी के खिलाफ बागी हो चले हैं। कारण बना है रिजल्ट। आरोप है कि 85 फीसदी तक छात्र फेल हो गए हैं। ऐसा इसलिए हुआ है क्योंकि कापियों का सही ढंग से मूल्यांकन नहीं हुआ। कॉमन मार्किंग की गई है। छात्रों की मांग है कि कापियों का फिर से मूल्यांकन कराया जाय ताकि सही रिजल्ट आए और छात्रों का भविष्य दांव पर न लगे।
सभी विषयों में एक जैसे नंबर कैसे
सुभाष प्रतिमा के नीचे प्रदर्शन करने वाले छात्रों का कहना था कि यह तो माना जा सकता है कि किसी छात्र का एक पेपर खराब हुआ और किसी का दो लेकिन सभी सब्जेक्ट के पेपर कैसे खराब हो सकते हैं। चलो मान लिया कि कुछ ने पढ़ाई नहीं की होगी लेकिन यह संख्या 80 प्रतिशत के ऊपर कैसे हो सकती है। इससे भी एक कदम आगे की बात यह है कि सभी को एक जैसे नंबर कैसे मिल सकते हैं? छात्रों का कहना है कि कापियों की चेकिंग में यूनिवर्सिटी ने ट्रांसपेरेंसी नहीं बरती है, इसी के चलते यह नौबत आई है। प्रदर्शन करने वालों में बच्चा पासी, सौरभ कुमार गौड़, सौरभ शुक्ला, सत्येन्द्र कुमार, पंकज मिश्रा, पवन गुप्ता, कृष्णा वर्मा आदि शामिल थे।
छात्रों का सवाल
सेल्फ फाइनेंस के कॉलेज का सेंटर दूसरे कॉलेज में क्यों भेजा गया
नकल की शिकायत पर ऐसा हुआ तो कापी जांचने में ट्रांसपेरेंसी क्यों नहीं
कापियों का फेयर मूल्यांकन हुआ है तो 85 फीसदी छात्र फेल कैसे हो गए
सभी सब्जेक्ट में एक जैसे मार्क सभी छात्रों को कैसे संभव
कानपुर विवि से सम्बद्ध हैं
महेन्द्र प्रताप सिंह लॉ कॉलेज
जी सिंह लॉ कॉलेज
प्रयाग लॉ कॉलेज
द्वारिका प्रसाद लॉ कॉलेज
राज नारायण लॉ कॉलेज
फैक्ट फाइल
इलाहाबाद में सभी सेमेस्टर को मिलाकर छात्र
7000
कुल पास छात्रों की संख्या
1100
फेल हो गए छात्र
5900
छह सेमेस्टर में होती है पढ़ाई
कापियों का मूल्यांकन यूनिवर्सिटी से तय मानकों के अनुसार ही हुआ है। पूरी ट्रांसपेरेंसी बरती गई है। कापियों को दोबारा चेक कराने का कोई सवाल ही नहीं है। जो रिजल्ट आ चुका है वही फाइनल है।
सैय्यद वकार हुसैन
रजिस्ट्रार, कानपुर यूनिवर्सिटी