-डिस्ट्रिक्ट में करीब सौ स्कूल चल रहे बिना मान्यता

- शैक्षिक सत्र के दौरान एक्शन नहीं ले सकीं बीएसए

<-डिस्ट्रिक्ट में करीब सौ स्कूल चल रहे बिना मान्यता

- शैक्षिक सत्र के दौरान एक्शन नहीं ले सकीं बीएसए

BAREILLY BAREILLY : बेसिक शिक्षा विभाग के अधिकारियों की मिलीभगत शैक्षिक सत्र के दौरान डिस्ट्रिक्ट में सैकड़ों स्कूल बिना मान्यता के चलते रहे। सत्र के साथ जब स्कूल बंद हो गए तो अफसर एक्शन मोड में जरूर आ गए। पहले बीएसए ने सख्ती का फरमान सुनाया, तो अब खंड शिक्षाधिकारी महानगर नरेन्द्र सिंह पंवार ने बिना मान्यता के चलने वाले स्कूलों पर एक लाख रुपए जुर्माना की बात कही है। ध्यान रखने वाली बात यह होगी कि नया सत्र शुरू होने के साथ ही अधिकारी अपने सख्ती को कायम रख पाते हैं या नहीं।

प्रति दिन क्0 हजार जुर्माना

खंड शिक्षाधिकारी महानगर का कहना है कि बिना मान्यता के यदि प्ले स्कूल या फिर आठवीं तक के स्कूल चलते हुए मिलते हैं, तो उन पर प्रतिदिन के हिसाब से दस हजार अधिकतम एक लाख रुपए जुर्माना लगाया जाएगा।

मार्च में रद हुए थे फ्म् स्कूल्स के आवेदन

80 स्कूल्स के मैनेजमेंट ने एनसी से पांचवीं और छठवीं से आठवीं क्लास की इंग्लिश मीडियम की मान्यता के लिए बेसिक शिक्षा विभाग में आवेदन किया था। मानकों की जांच में फ्ब् स्कूल के संचालक मान्यता की शर्तो को पूरा नहीं कर सके। लिहाजा, ख्8 मार्च को इन स्कूलों की मान्यता रद कर दी गई। साथ ही स्कूल मैनेजमेंट को स्कूल बंद करने के आदेश दिए। हालांकि, एक भी स्कूल बंद नहीं हुए। न ही बीएसए से लेकर बीईओ ने स्कूल बंद कराने में रुचि दिखाई। सेशन खत्म होने के साथ स्कूल बंद भी हो गए। मान्यता की शर्ते न पूरी कर पाने के चलते लास्ट ईयर भी भ्ब् स्कूल्स को बंद करने के निर्देश तत्कालीन बीएसए डीएस सचान ने दिए थे। तब भी एक स्कूल पर ताला नहीं लग पाया था, जो इन अधिकारियों की मिलीभगत को साफ बयां करता है। सूत्रों की माने तो बीएसए सचान के समय में जिन स्कूलों को बंद करने का आदेश जारी किया गया था, वे स्कूल इस सत्र में भी चल रहे थे। सत्रांत में सख्ती के पीछे की कहानी, जो बेसिक शिक्षा विभाग में छन कर आ रही है उसकी मानें तो बिना मान्यता के स्कूलों से रिश्वत के नए रेट तय किए जाने की यह तैयारी है।

बीईओ होंगे जिम्मेदार

बीएसए चंदना यादव ने बताया कि उन्होंने डिस्ट्रिक्ट के सभी बीईओ को मार्च और अप्रैल में लेटर भेजकर बगैर मान्यता के चल रहे स्कूल्स को बंद कराने को कहा था। लेकिन, बीईओ ने बीएसए के आदेश को ठंडे बस्ते में डाल दिया है। बीएसए ने फ्राइडे को सभी बीईओ को एक और लेटर लिखा है। इसमें उन्होंने लिखा है कि जिस बीईओ के क्षेत्र में बगैर मान्यता का स्कूल चलते हुए मिलेगा, उसके खिलाफ विभागीय कार्रवाई होगी।

इस साल इन स्कूल्स की निरस्त हुई मान्यता

-शेखर्स प्राइड स्कूल

-जीआर इंटरनेशनल स्कूल

-सुरजीत बचपन स्कूल

-रेनबो पब्लिक स्कूल

-श्री जमुना प्रसाद यादव पब्लिक स्कूल

-विक्रम पब्लिक स्कूल

-जैन एकेडमी इंग्लिश मीडियम स्कूल

-टैगोर विद्या मंदिर स्कूल

-रॉयल पब्लिक स्कूल

-चमन चिल्ड्रेन पब्लिक स्कूल

-बीएल एकेडमी स्कूल

-लॉर्ड बुद्धा पब्लिक स्कूल

-जय नारायण पब्लिक स्कूल

-तक्षिला कॉन्वेंट स्कूल

-केशो इंटरनेशनल पब्लिक स्कूल

-माउंट हिरा कॉन्वेंट स्कूल

-नाइस फ्यूचर एकेडमी पब्लिक स्कूल, आदि

लास्ट ईयर इन स्कूल्स की मान्यता हुई थी निरस्त

-जैन एकेडमी इंग्लिश मीडियम स्कूल

-रेनबो पब्लिक स्कूल

-टैगोर विद्या मंदिर स्कूल

-ड्रीम इंडिया स्कूल

-श्रीकृष्णा पब्लिक स्कूल रिठौरा

-भगवती मदर्स प्राइड स्कूल, देवरनियां

-सरदार पटेल एकेडमी पब्लिक स्कूल, बरेली, आदि

वर्जन

जिले में जो भी स्कूल्स बगैर मान्यता के चल रहे हैं। उन्हें बंद कराने के निर्देश सभी बीईओ को दिए गए हैं। शिकायतें मिल रही हैं कि वे स्कूल्स अभी भी चल रहे हैं। इसलिए, बीईओ को हिदायत दी गई है कि स्कूल चलते हुए मिला, तो उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई की जाएगी।

चंदना यादव, बीएसए