मंडे विकास भवन सभागार में आयोजित समेकित वाटरशेड मैनेजमेंट वर्कशॉप में मे वर्षा जल संचयन और संरक्षण पर दिया जोर

BAREILLY: वर्षा जल को संचयन और संरक्षित कर खेती की उत्पादकता को बढ़ाया जा सकता है। मंडे को विकास भवन सभागार में प्रभारी डीएम सीडीओ शिव सहाय अवस्थी की अध्यक्षता में समेकित वाटरशेड मैनेजमेंट वर्कशॉप का आयोजन किया गया। इस वर्कशॉप में वर्षा जल को संचयन और संरक्षण के प्रति जन जागरुकता पैदा करने पर जोर दिया गया।

वाटरशेड डेवलेप के बारे में दी जानकारी

वर्कशॉप में उपस्थित पंचायतों के वाटरशेड समितियों के प्रतिनिधियों एवं स्वरोजगार के लिए गठित समूह के प्रतिनिधियों ने वाटरशेड डेवलेप करने की जानकारी दी। बारिश के पानी को तालाब, पोखर एवं भू गर्भ स्तर पर संरक्षण करने के विभिन्न उपायों के बारे में बताया। कुआं, तालाबों, चेकडेम, खेतों की मेड़बंदी आदि कार्यों तथा शुष्क भूमि बागवानी एव चारा विकास, वनीकरण, स्वरोजगार हेतु स्वयं सहायता समूहों का गठन, सूक्ष्म उद्योगों की स्थापना, मत्स्य पालन, पशुपालन आदि की जानकारी दी गई। स्वयं सहायता समूहों को स्वरोजगार के लिए प्रोत्साहित किया गया तथा बताया कि प्रति समूह 25 हजार रुपए रिवाल्विंग फंड का प्रावधान है।

अब तक 6 करोड़ रुपए हुए खर्च

पावर प्ले प्रजेंटेशन के माध्यम से वाटरशेड प्रबन्धन के उद्देश्यों, उनके क्रियान्वयन एवं परिणामों को स्थानीय ग्रामीण भाषा में दिखाया गया। मीटिंग में उपस्थित विधायक सियाराम सागर ने डिस्ट्रिक्ट में अब तक किए गए विकास कार्यो व उनके परिणामों के बारे में पूछताछ की। कार्यदायी स्ास्था द्वारा बताया गया कि समेकित वाटरशेड प्रबन्धन मे 6 करोड़ 8 लाख रुपये के कार्य किये जा चुके हैं। जनपद अधिकारी एसके वर्मा ने योजना के उद्देश्य, आवश्यकता क्रियान्वयन तथा प्रबन्धन के बारे में जानकारी दी। इस अवसर पर दो स्वयं सहायता समूहों और किनवा की खेती करने वाले किसान को स्प्रे मशीन देकर पुरस्कृत किया गया।