बरेली में सीएमओ ऑफिस ने 5 साल में 258 झोलाछाप पर कार्रवाई

शहर में 500 से ज्यादा झोलाछाप डॉक्टर्स, रिमोट एरिया, पुराने शहर में सबसे ज्यादा

BAREILLY:

बेशक शहर में उन्नत मेडिकल सुविधा और हॉस्पिटल्स व नर्सिग होम्स की तादाद ने इसे मेडिकल हब का दर्जा दिया हो, लेकिन वहीं इस शहर में झोलाछाप डॉक्टर्स ने भी अपनी जड़ें गहरी कर ली हैं। शहर का कोई ऐसा इलाका नहीं है, जहां झोलाछाप डॉक्टर्स दुकानें सजा कर न बैठे हों। सीएमओ ऑफिस के अनुमान के मुताबिक शहर में 500 से ज्यादा झोलाछाप डॉक्टर्स एक्टिव हैं, जो इलाज के नाम पर मरीजों की सेहत से खिलवाड़ कर रहे हैं। सेहत महकमे की ओर सेतमाम कार्रवाई के बावजूद शहर में झोलाछाप डॉक्टर्स की पहुंच जनता मे बढ़ती गई, जिसका खमियाजा समय समय पर आम जनता को भुगतना पड़ रहा।

रिमोट व पिछड़े एरिया में पहुंच

शहर में झोलाछाप डॉक्टर्स का असर उन एरियाज में ज्यादा है, जहां की पब्लिक सेहत के लिए या तो न के बराबर अवेयर है, या फिर उनके पास बेहतर स्वास्थ्य सुविधा नहीं। जिसके चलते मजबूरी में उन्हें झोलाछाप डॉक्टर्स के पास जाना पड़ता है। मेन शहर से दूर रिमोट एरिया जहां सीएचसी व पीएचसी की भी पहुंच कमजोर है। ऐसी इलाकों में लोग झोलाछाप डॉक्टर्स से ही इलाज लेने को मजबूर है। वहीं सिटी के अंदर पुराने शहर और पिछड़े व मलिन बस्ती जैसे एरियाज में भी झोलाछाप डॉक्टर्स ही मरीजों के लिए 'भगवान' है।

4 महीने में सिर्फ 1 पर कार्रवाई

शहर के झोलाछाप डॉक्टर्स के खिलाफ नकेल कसने को सीएमओ की ओर से समय समय पर चेकिंग अभियान चलाया जाता है। इसमें किसी डॉक्टर के खिलाफ कंप्लेन मिलने पर उसकी डिग्री व डॉक्यूमेंट्स की जांच की जाती है। डिग्री फर्जी मिलने पर सीएमओ की ओर से आरोपी डॉक्टर के खिलाफ एफआईआर कराई जाती है। लेकिन 2015 की शुरुआत से झोलाछाप डॉक्टर्स के खिलाफ सीएमओ का अभियान कमजोर रहा। अप्रैल से अगस्त के पहले हफ्ते में सिर्फ 1 झोलाछाप डॉक्टर के खिलाफ ही कार्रवाई की जा सकी है।

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कब कितने झोलाछाप पर कार्रवाई

साल संख्या

2009-10 54

2010-11 51

2011-12 53

2012-13 45

2013-14 37

2014-15 17

2015-16 01

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शहर में झोलाछाप डॉक्टर्स के खिलाफ अभियान में फिर तेजी लाई जा रही है। इसी कड़ी में सभी को नोटिस भेजकर अपनी डिग्री व डॉक्यूमेंट्स सीएमओ ऑफिस जमा कराने के निर्देश दिए गए हैं। फर्जी डॉक्टर्स पर एफआईआर दर्ज होगी। - डॉ। विजय यादव, सीएमओ