गोरखपुर (ब्यूरो)।किडनैप करने के बाद उसे इलाके की कटाई टिकर पुलिया के नीचे ले गया और वहां बच्चे का हाथ पैर बांधकर उसके मुंह में कपड़ा ठूंस दिया। इसके बाद दरिंदे चाचा ने बच्चे का गला दबा दिया।

स्कूल से छुट्टी के समय किया अपहरण

जानकारी के अनुसार गोरहडीह निवासी सत्यनारायण सिंह का बेटा आयुष सिंह (10) प्राइमरी स्कूल में क्लास 3 में पढ़ता था। बुधवार को छुट्टी होने पर घर आ रहा था। रास्ते में पिता का दोस्त राम सिंह उसे मिला। राम सिंह ने चॉकलेट दिलाने के बहाने आयुष को बाइक पर बैठा लिया।

घरवालों ने पुलिस को दी तहरीर

आयुष की मां की मौत हो चुकी है। बुधवार को दिनभर पिता और तीन बहनें आयुष को खोजते रहे। जब आयुष नहीं मिला तो बुधवार को ही हरपुर बुदहट थाने में बच्चे के गायब होने की तहरीर दी। पुलिस की जांच में पता चला कि लास्ट बार बच्चा राम सिंह के साथ देखा गया था। बच्चे के परिवार वाले राम सिंह से पूछने गए, तब वो उल्टा उनसे ही मारपीट करने लगा।

दिनभर पुलिस को परेशान करता रहा आरोपित

शक के आधार पुलिस ने दोपहर 2-3 बजे के करीब राम सिंह को हिरासत में लिया और उससे पूछताछ की। लेकिन राम सिंह पुलिस को इधर-उधर घूमाता रहा। रात करीब दस बजे राम सिंह टूटा और उसने कटाई टिकर से बच्चे को बरामद कराया।

पुलिस पहुंची तो जिंदा था बच्चा

रामसिंह ने पुलिस को बताया कि 4 लाख रुपए की फिरौती सत्यनारायण से मांगने के लिए उसके बच्चे का अपहरण किया था। बुधवार को बच्चे का हाथ पैर बांधकर व उसके मुंह में कपड़ा ठूंसकर पुलिया के नीचे छोड़ दिया। इसके बाद भी बच्चे की आवाज आ रही थी। अब राम सिंह ने पोल खुलने के डर से बच्चे को मारने के लिए उसका गला दबा दिया। बच्चे को मरा समझकर वहां से निकल गया। जब पुलिस बच्चे के पास पहुंची तो आयुष की सांसें चल रही थीं। पुलिस बच्चे को रात में ही मेडिकल कॉलेज लेकर पहुंची।

समय से मिलता बच्चा तो बच जाती जान

बुधवार रात करीब 1:46 बजे आयुष को मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया। जहां पर रातभर डॉक्टरों ने उसका इलाज किया। दर्द से जूझते बच्चे की गुरुवार सुबह 9:45 बजे मौत हो गई। डॉक्टर्स का कहना था कि समय से बच्चा मिल गया होता तो उसकी जान बचाई जा सकती थी।

कुकर्म की आशंका

वहीं पूरे दिन हरपुर बुदहट में बच्चे के साथ कुकर्म की भी चर्चा होती रही। यही नहीं मेडिकल कॉलेज में बच्चे को डायपर भी पहनाया गया था। फिलहाल अभी इसकी पुष्टि नहीं हुई थी।

बच्चे के पिता के साथ काम करता था आरोपित

सत्यनरायण सिंह और रामसिंह दोनों साथ में ही गीडा स्थित एक बिस्किट फैक्ट्री में काम करते थे। सत्यनरायण सिंह ने ही आरोपित रामसिंह की नौकरी भी लगवाई थी।

हत्या में जेल जा चुका है हत्यारोपित

रामसिंह की अभी शादी नहीं हुई है। वर्ष 2016 में उसने खोराबार में एक ट्रक मालिक की हत्या कर सरिया लूट की घटना को अंजाम दिया था। उसे गिरफ्तार कर जेल भेजा गया था। वर्ष 2022 में वह जमानत पर जेल से बाहर आया है।

टाइमलाइन में घटनाक्रम

बुधवार दोपहर 12 बजे अपहरण हुआ।

आरोपित राम सिंह 2 बजे अरेस्ट हुआ।

आरोपित करीब 8 घंटे तक पुलिस को घूमाता रहा।

रात 10 बजे बच्चा बरामद हुआ।

देर रात 1:46 बजे बीआरडी में एडमिट कराया गया।

गुरुवार सुबह 9:45 बजे बच्चे की मौत हो गई।

मेडिकल कॉलेज में बच्चे की दर्दनाक मौत हो गई। हत्या के आरोपी को अरेस्ट करके कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया गया। बच्चे के पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद कई और चीजें क्लियर हो जाएंगी।

अरुण कुमार सिंह, एसपी साउथ