गोरखपुर (अनुराग पांडेय)।विश्व पर्यावरण दिवस के दिन कॉलेज में ऐसी टेक्नीक का सबके सामने प्रदर्शन कर सबको हैरत में डाल दिया। चारों स्टूडेंट ने बताया कि हरियाली बनी रहे, इसलिए उन्होंने ऐसा इनोवेशन किया कि जिससे पानी के अभाव में पेड़-पौधे सूखने ना पाएं।

बनाया इंटेलिजेंट सेंसर्स

अभी तक हमलोगों ने मोबाइल को 3जी, 4जी और 5जी के रूप में बदलते देखा है। अब इंसान की तरह ही तेज धूप में प्यास लगने पर पौधे भी पानी मांग सकेंगे। इसके लिए आईटीएम गीडा के स्टूडेंट ने मिलकर इंटेलिजेंट सेंसर्स तैयार किया है। इस सेंसर को गमले में फिट करने पर पानी की जब भी जरूरत पड़ेगी, उसमे लगे पौधे में से अलार्म की आवाज आने लगेगी। जिससे पता चल जाएगा कि अब पौधे को पानी की जरूरत है।

मिट्टी सूखते ही जलेगी रेड लाइट

इस प्रोजेक्ट को आईटीएम गीडा के कंप्यूटर साइंस फस्र्ट इयर के चार स्टूडेंट अवंतिका राय, अंशिका सिंह, आकाश, आयुष कुमार ने मिलकर तैयार किया है। स्टूडेंट्स ने बताया कि सेंसर को गमले के अंदर कहीं भी लगाया जा सकता है। जब तक गमले की मिट्टी में नमी रहेगी इंटेलिजेंट सेंसर्स शांत रहता है। जैसे ही गमले की मिट्टी सूखने लगती तब यह सेंसर एक्टिव हो जाता है। गमले में लगे अलार्म बजने के साथ रेड लाइट जलने लगती है।

कम खर्च में तैयार किया सेंसर

स्टूडेंट ने बताया कि इंटेलिजेंट पॉट सेंसर को 100 रुपए से भी कम खर्च में बनाया जा सकता है। इसे बनाने में स्टूडेंट्स ने बीसी 457 ट्रांजिस्टर, 3 वोल्ट रिले, रेड एंडीकैटर और अलार्म का यूज किया है। आईटीएम के डायरेक्टर डॉ। एन के सिंह ने बताया कि विश्व में करोड़ों पेड़-पौधे हरियाली के लिए लगाए जाते हैं, लेकिन रख-रखाव खासकर समय से पानी नहीं मिलने के कारण पौधे नष्ट हो जाते हैं। स्टूडेंट के इस अविष्कार से पौधों को सूखने से बचाया जा सकता है। साथ ही इस अविष्कार से हरियाली को भी बढ़ावा मिलेगा।