गोरखपुर (ब्यूरो)।मुठभेड़ के दौरान तेजस्वी के एक और साथी को भी पुलिस ने अरेस्ट किया है। 10 अप्रैल को हरखापुर हत्याकांड में ये बदमाश शामिल थे। इनके पास से पुलिस को अवैध पिस्टल, जिंदा कारतूस और बाइक मिली है। घायल बदमाश तेजस्वी का इलाज पुलिस कस्टडी में बीआरडी मेडिकल कॉलेज में चल रहा है। वहीं, 6 साल में पुलिस ने 35 एनकाउंटर कर बदमाशों पर फुल टेरर बना लिया है।

फरार बदमाशों पर घोषित था इनाम

प्रेस कॉन्फ्रेंस में एसएसपी डॉ। गौरव ग्रोवर ने बताया, 10 अप्रैल 2023 की रात पिपराइच के हरखापुर चौराहे पर गोली मारकर ननिहाल आए विपिन पाण्डेय की हत्या कर दी गई थी। इस दौरान बदमाशों की फायरिंग में मोनू गौड़ समेत दो घायल भी हुए थे। घटना में शामिल दो बदमाश पहले ही पकड़ कर जेल भेजे जा चुके हैं। जबकि तीन आरोपी रिठिया निवासी तेजस्वी पटेल, हरखापुर के पवन राजभर और रामपाल राजभर फरार चल रहे थे। इनपर 25-25 हजार का इनाम था।

72 घंटे से खोज रही थी पुलिस

तीनों आरोपितों को पकडऩे के लिए पिपराइच थाना, एसओजी, स्वाट और सर्विलांस टीम 72 घंटे से लगी थीं। शुक्रवार सुबह करीब 7:12 बजे सूचना मिली कि दो संदिग्ध व्यक्ति मोटरसाइकिल से जंगल धूषण की तरफ जा रहे हैं। जब चेकिंग के लिए अभियुक्तों को रोकने का प्रयास किया गया तो वे भागने लगे। जंगल तिकोनिया में अनियंत्रित होकर मोटरसाइकिल सवार बदमाश गिर पड़े। मोटर साइकिल चला रहे बदमाश तेजस्वी ने पुलिस टीम पर पिस्टल से फायर कर दिया, जिसकी जवाबी फायरिंग में तेजस्वी पटेल के पैर में गोली लगी। वहीं बाइक पर पीछे बैठा पवन राजभर जो कि भाग रहा था, उसे भी पुलिस ने दबोच लिया। बदमाशों से पूछताछ के बाद तीसरे फरार बदमाश रामपाल राजभर को भी पुलिस ने अरेस्ट कर लिया।

नामजद पांच अरेस्ट, दो अज्ञात की तलाश

पुलिस घटना में शामिल दो नामजद आरोपी हरखापुर निवासी सत्यपाल राजभर उर्फ नाटे, पादरी बाजार निवासी मुकेश राजभर को पहले ही गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है। अब घटना के पांचों नामजद गिरफ्तार हो चुके हैं। वहीं दो अज्ञात बदमाशों की भी तलाश पुलिस कर रही है।

पकड़े गए शरणदाता, अन्य की बन रही कुंडली

पुलिस इन बदमाशों के दो शरणदाताओं अमित पटेल उर्फ मिकिन्स व कुशीनगर के आकाश पाल को भी गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है। एसएसपी ने बताया कि दोनों पक्ष के लोग आपराधिक प्रवृत्ति के हैं। इनको कई लोग आर्थिक सहित अन्य मदद भी करते हैं। दोनो पक्ष के मददगारों की कुंडली भी खंगाली जा रही है।

छह साल में 35 एनकाउंटर, 3 बदमाश ढेर

साल 2017 से अब तक छह साल में 35 बदमाशों के एनकाउंटर हुए हैं, जिसमे तीन बदमाशों को मौत के घाट उतार दिया गया। वहीं, 32 बदमाशों के पैर में पुलिस की गोली लगी है। योगी सरकार के पहले कार्यकाल में गोरखपुर में 17 और दूसरे में अब तक 14 बदमाशों का एनकाउंटर हो चुका है।

साल 2022 में हुए एनकाउंटर

17 दिसंबर: राजघाट अमरूतानी में कई मुकदमों में वांछित राज निषाद के पैर मेें पुलिस की गोली लगी।

18 सितंबर: चिलुआताल पुलिस ने कुशीनगर के एक इलाके से कुख्यात बदमाश जुल्फीकार को मुठभेड़ में पकड़ा। बदमाश के पैर में गोली लगी थी।

5 सितंबर: चौरीचौरा के सोनबरसा में मुठभेड़ के दौरान हरेन्द्र यादव के पैर में पुलिस की गोली लगी। दो बदमाशों ने आत्मसमर्पण कर दिया।

12 मई: कैंट इलाके के व्ही पार्क के पास लूट के आरोपी शहजाद के पैर में मुठभेड़ के दौरान पुलिस की गोली लगी।

2 मई: बेलघाट इनकाउंटर में 25 हजार के इनामी आजमगढ़ के बदमाश तौफिक अहमद उर्फ गुड्डू के पैर में गोली लगी।

29 अप्रैल: छावनी रेलवे स्टेशन के पास कैंट पुलिस से मुठभेड़ में बिहार के बदमाश हैरान कुमार, शिवा, विरेंद्र और करन उर्फ संजय के पैर में गोली लगी।

26 अप्रैल: खोराबार ट्रिपल मर्डर का आरोपी पुलिस अभिरक्षा से भाग रहा था। इस दौरान संतकबीर नगर के बदमाश आलोक पासवान के पैर में गोली लगी।

25 अप्रैल: रामगढ़ताल पुलिस मुठभेड़ में 32 लाख की लूट के आरोपी मनोज और अजीत के पैर में गोली लगी।

17 अप्रैल: चौरीचौरा के सोनबरसा में पुलिस से मुठभेड़ में पशु तस्कर इमरान के पैर में गोली लगी।