गोरखपुर (ब्यूरो)। यह यूनिट स्किन ट्रीटमेंट में बहुत सहूलियत देगा। यह स्टूडेंट्स, रिसर्चर्स और मरीजों के लिए एक महत्वपूर्ण संसाधन है। इस अवसर पर डर्मेटोलॉजी विभाग के हेड, डॉ। सुनील कुमार गुप्ता ने कहा की डर्मेटोलॉजी विभाग के इस नए पॉजिटिव डेवलपमेंट हो रहे हैं। यह फोटोथेरेपी और लेजर यूनिट डर्मेटोलॉजी के छात्रों के लिए एक अहम अवसर प्रदान करेगा जो उनके शैली को और भी प्रभावी बनाएगा। इसे अच्छे स्वास्थ्य और स्किन के लिए महत्वपूर्ण योगदान के रूप में देखते हैं।

स्किन डिजीज में अहम

नैरो बैंड अल्ट्रा वॉयलेट-बी और अल्ट्रा वॉयलेट-ए फोटोथेरेपी, त्वचा के विभिन्न बीमारियों के इलाज में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। यह एनवी यूएवी फोटोथेरेपी स्किन के कई बीमारियों जैसे सोराइसिस, विटिलिगो, एटोपिक डर्मेटाइटिस, और डर्मेटोमायोसिटिस में उपचार में महत्वपूर्ण है। इसका इस्तेमाल स्किन के प्रशस्तिकरण, त्वचा में इन्फ्लेमेशन कम करने और त्वचा के स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के लिए किया जाता है। वही यूवीए फोटोथेरेपी कई त्वचा बीमारियों के इलाज के लिए प्रयुक्त होती है, जैसे कि सोरियासिस, स्क्लेरोडर्मा, विटिलिगो, और टीनिया वर्सिकलरिस। इसमें एक स्पेशल टाइप की लाइट का इस्तेमाल किया जाता है, जो रोशनी की क्वालिटी को बढ़ाने और त्वचा की बीमारियों को नियंत्रित करने में मदद करता है। ये दोनों तरीके के फोटोथेरेपी उपचार त्वचा बीमारियों के लिए सुरक्षित और प्रभावी हैं, लेकिन इनका उपयोग केवल डॉक्टर के मार्गदर्शन में किया जाना चाहिए।

डायोड लेजर की दी जानकारी

इसी प्रकार डायोड लेजर डर्मेटोलॉजी में एक महत्वपूर्ण उपकरण है जिसका उपयोग त्वचा संबंधित समस्याओं के इलाज में किया जाता है। डॉक्टर शिवांगी ने डायोड लेजर के डर्मेटोलॉजी में भूमिका के बारे में बताते हुए कहा कि यह लेजर अक्सर हेयर रिमूवल के उपचार में प्रयुक्त होता है। यह त्वचा के अनचाहे बालों के रूप, वृद्धि, को कम करने में मदद कर सकता है। डायोड लेजर का उपयोग पिगमेंटेशन के उपचार में किया जा सकता है, जैसे कि मेलेस्मा या पिग्मेंटेड स्पॉट्स के लिए। वही यह त्वचा के विशिष्ट वेन्स, जैसे कि वरिकोज वेन्स और तनाव वेन्स, के उपचार में उपयोग होता है। डायोड लेजर टैटू रिमूवल के लिए भी अच्छा उपकरण हो सकता है, जिससे बिना किसी बड़े सर्जरी के टैटू को हटाया जा सकता है।