- गोमतीनगर स्थित डॉ। भीमराव अम्बेडकर सामाजिक परिवर्तन स्थल का मामला
- करोड़ों रुपये की लागत से बनवाए गए स्मारकों का नहीं हो रहा उचित रखरखाव
- CCTV कैमरा खराब होने के चलते दोषियों पर नहीं हो पा रही कार्रवाई
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LUCKNOW: बात हो रही है गोमतीनगर स्थित डॉ। भीमराव अम्बेडकर सामाजिक परिवर्तन स्थल की। करीब क्07 एकड़ पर यह पार्क डेवलप किया गया है। लागत लगभग 700 करोड़ की थी। जगह-जगह यह संदेश भी चस्पाया गया कि स्मारकों को नुकसान पहुंचाने वालों पर कार्रवाई होगी। मगर फिलवक्त लोग उन स्मारकों के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं। कोई रोकने-टोकने वाला नहीं है। ऐसे में इन स्मारकों की सुरक्षा को लेकर कई सवाल उठ रहे हैं।
पेडेस्टेल पर बैठिए, कोई नहीं रोकेगा
हाथियों के पेडेस्टेल पर लोग आराम से बैठ रहे हैं लेकिन उन्हें कोई रोकने-टोकने वाला नहीं है। हाथी के पेडेस्टेल पर खड़े होकर टूरिस्ट फोटो भी खिंचा रहे हैं। वजह यह है कि यहां लगे ज्यादातर सीसीटीवी कैमरा खराब हो गए है।
भ्00 रुपए है चालान
जगह-जगह बोर्ड लगे हैं कि मूर्तियों को छूने या खुरचने पर भ्00 रुपए का जुर्माना वसूला जाएगा। लेकिन सीसीटीवी लगे होने के बाद भी आज तक जुर्माने की एक भी रकम वसूली नहीं जा सकी है। अब तो ज्यादातर सीसीटीवी कैमरा ही खराब हो गए हैं। सवाल यह भी है कि आखिर रकम वसूली भी जाए तो कैसे। यहां तो जुर्माने की रसीद बुक ही नहीं तैयार हुई है।
तपिश से बचने के लिए स्तंभों का सहारा
जबरदस्त धूप में घूमने आए आशियाना के मुकेश ने बताया कि यहां गर्मी से बचने के लिए कहीं जगह नहीं है। यदि बीच में पेड़ लगे होते तो घूमने का मजा आ जाता। अब कड़ी धूप से बचने के लिए लोग स्तंभों की परछाई का सहारा ले रहे हैं।
रह जाएंगे प्यासे
यदि आप यहां घूमने जा रहे हैं तो मिनरल वाटर लेकर जाइए। कहीं ऐसा न हो कि अंदर पहुंचने के बाद आपको इस गर्मी में पानी के लिए तड़पना पड़े। यहां मेन इंट्री गेट के दोनों ओर जेंट्स और लेडीज के लिए पानी और ट्वॉयलेट का अरेंजमेंट है। मगर इस समय मोटर खराब होने की वजह से पानी नहीं आ रहा है और लेडीज ट्वॉयलेट बंद कर दिया गया है। पानी के लिए यहां लगी सभी टोटियां सूखी हैं। पानी की टंकी के जरिए एक मोटे पाइप से वाटर सप्लाई हो रही है लेकिन वह भी प्यूरीफाई नहीं है।
पार्क के बारे में कुछ खास बातें
- म्भ् लाख का है एक हाथी
- ठप्प है मेंटीनेंस का काम
- मूर्तियों को छूने और खुरचने पर है भ्00 रुपए का जुर्माना
- आज तक नहीं हो सका कोई भी जुर्माना
- महीने की मेंटीनेंस कॉस्ट है करीब ख्0 लाख रुपए
- रोज पहुंचते हैं करीब क्0 से क्भ् हजार दर्शक
- टिकट रेट है क्0 रुपए
- जगह-जगह उखड़ने लगे हैं टायल्स
- कूड़ा भी बिखरा है जगह-जगह
तीसरी आंख खराब
बसपा शासनकाल में बनाए गए स्मारकों की तीसरी आंख कमजोर हो गई है। ज्यादातर सीसीटीवी कैमरे खराब हो गए हैं। गर्मी में सिक्योरिटी भी ढीली पड़ गई है। यहां केवल निठल्लेबाजी हो रही है। काम करने में किसी का इंट्रेस्ट नहीं रह गया है। स्मारक की सुरक्षा में तैनात सुरक्षा वाहिनी आराम फरमा रही है। स्मारक सुरक्षा वाहिनी के कर्मियों का वेतन रोजाना लगभग सात लाख रुपये है।
यहां तैनात हैं सुरक्षा वाहिनी
- डॉ। भीमराव अंबेडकर सामाजिक परिवर्तन स्थल, गोमती नगर
- डॉ। भीमराव अंबेडकर गोमती विहार म्यूजिकल फाउंटेन, गोमती नगर
- मान्यवर कांशीराम स्मारक स्थल कानपुर रोड
- मान्यवर कांशीराम ग्रीन ईको गार्डेन कानपुर रोड
- बौद्ध विहार शांति उपवन कानपुर रोड