लखनऊ (ब्यूरो)। गर्मी का प्रकोप बढ़ रहा है। ऐसे में डायरिया समेत दूसरी संक्रामक बीमारियों के बढ़ाने की आशंका भी बढ़ गई है। सभी सरकारी अस्पतालों को खास तौर पर सतर्क रहने के साथ-साथ इमरजेंसी सेवाओं को और मजबूत करने की जरूरत है ताकि संक्रामक रोग फैलने की दशा में आसानी से बीमारी से निपटा जा सके। ये आदेश डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को दिए हैं।

रैपिड रिस्पांस टीम बनायें

डिप्टी सीएम ने कहा कि सरकारी अस्पतालों में संक्रामक रोगियों को भर्ती करने की पुख्ता व्यवस्था की जाये। दवा, जांच में किसी भी तरह की कमी नहीं होनी चाहिए। सभी जिलों में सीएमओ रैपिड रिस्पांस टीम बनायें, जो बीमारी फैलने की दशा में राहत कार्य में मदद पहुंचा सकें। नगरीय सामुदायिक व प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को अलर्ट करें। यहां से बीमारी पर काबू पाना आसान होगा। समय पर राहत कार्य से बीमारी के प्रसार को रोका जा सकता है। सामुदायिक व प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में ओरआरएस, ग्लूकोज, एंटीबायोटिक समेत दूसरी दवाओं का स्टॉक जुटा लें।

पानी की नियमित जांच करायें

उन्होंने आगे कहा कि जिलाधिकारी, नगर निगम और स्वास्थ्य विभाग की टीमें नियमित पानी की जांच करें। घरों से लेकर सड़क पर लगे नलों से पानी लेकर जांच करायें। जल संस्थान व दूसरे जिम्मेदार विभागों के अफसर पानी की गुणवत्ता बरकरार रखने में किसी भी तरह की कोताही न बरतें। मानक के अनुसार क्लोरीन पानी में मिलायें ताकि लोगों को साफ-सुथरे पीने लायक पानी की आपूर्ति की जा सके।

जागरूकता अभियान चलायें

लोगों को संक्रामक बीमारियों के प्रति जागरूक करें। सीएमओ अभियान चलायें इसमें डायरिया, मलेरिया, डेंगू, टाइफाइड समेत दूसरी बीमारियों से बचाव व लक्षण के बारे में बतायें, ताकि लोग शुरुआत में लक्षणों की पहचान कर इलाज करा सकें और बीमारियों को फैलने से रोका जा सके।

इन लक्षणों से रहें सतर्क

- पेट गड़बड़ाना

- लगातार उल्टी होना

- अत्यधिक मतली आना

- पेट में दर्द और सूजन होना

- शरीर में पानी की कमी होना

- बार-बार बुखार आना

- मल के साथ खून आना

- बदहजमी की शिकायत होना

- भूख में कमी आना