भाई दूज का टीका 16 नवंबर को 12:56 से 03:06 तक करें

LUCKNOW: दिवाली का इंतजार हर साल लोगों को रहता है। इस दिन मां लक्ष्मी व धन के देवता कुबेर की पूजा की जाती है। ज्योतिषाचार्य पंडित राकेश र्पडेय के अनुसार कार्तिक कृष्ण अमावस्या शनिवार को दिवा 01:49 से लग रही है। आज स्वाति नक्षत्र रात्रि 08:47 तक उसके बाद विशाखा नक्षत्र भोग करेगी। इसबार सिद्धि नामक योग मिल रहा है जो अत्यन्त ही शुभ है। आज के दिन सायं काल में दीपोत्सव के साथ ही मां लक्ष्मी, गणेश व कुबेर आदि देवताओं की पूजन निष्ठा पूर्वक करना चाहिए।

ऐसे करें मां लक्ष्मी को प्रसन्न

आज मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए सबसे पहले घर की सफाई कर दीप आदि से रोशनी करें। घी के दीपक जलाएं और घरों को सजाएं। दिवाली के दिन दीपकों की पूजा का बहुत महत्व है। दो थालियों में दीपकों को रखें, छह चतुर्मुख दीपक दोनों थाली में सजायें। 26 छोटे दीपकों में तेल-बत्ती रखकर जलाएं। इसके बाद जल, अक्षत, पुष्प, रोली, दूर्वा, चंदन, अबीर व गुलाल हाथ में लेकर अर्पित करें। इसके साथ धान का लावा अर्पित कर दीपमालिकायै नम: मंत्र पढ़ने के बाद धूप दीप दिखाकर लक्ष्मी-गणेश व कुबेर का पूजन कर भोग लगाकर आरती करें।

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न्नकूट कल

अमावस्या के बाद 15 नवंबर को सुबह 10 बजे के बाद अन्नकूट का पर्व मनाया जाएगा। इस दिन लोग घरों में गोबर से गोवर्धन पर्वत बनाएंगे और भगवान श्रीकृष्ण का पूजन कर मंदिरों में छप्पन भोग चढ़ाते हैं।

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भाइर् दूज 16 को

ज्योतिषाचार्य आनंद दुबे ने बताया कि भाई दूज का पर्व कार्तिक मास शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि को मनाया जाता है। भाई दूज का पर्व 16 नवंबर को मनाया जाएगा। इस दिन बहनें भाई को तिलक कर उनकी सुख, समृद्धि और खुशहाली की कामना करती हैं। इस दिन यमुना नदी में स्नान करने की भी परंपरा है। वहीं कायस्थ समाज के लोग इस दिन श्री चित्रगुप्त का पूजन करते हैं।

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लक्ष्मी पूजन का शुभ मुहूर्त

- दिवा लग्न कुंभ दोपहर 12:37 से 02:09 तक

- सर्वोत्तम मुहूर्त वृष लग्न शाम 05:16 से 07:13 तक

- मध्य रात्री सिंह लग्न 11:44 से 01:58 तक