लखनऊ (ब्यूरो)। मलिहाबाद विधानसभा सीट की बात की जाए तो यहां वोटर्स ने ज्यादा दम दिखाया था। यहां वोटिंग प्रतिशत 65 प्रतिशत के आसपास रहा था। वहीं सरोजनीनगर विधानसभा में वोटर्स कुछ बैकफुट पर नजर आए थे और यहां का वोटिंग प्रतिशत 55.49 प्रतिशत रहा था। इसी तरह मोहनलालगंज में भी वोटर्स का अच्छा रिस्पांस देखने को मिला था। यहां वोटिंग प्रतिशत 63.77 प्रतिशत रहा था। इसी तरह बीकेटी में भी 63 प्रतिशत के आसपास वोटिंग प्रतिशत रहा था।


मोहनलालगंज लोकसभा सीट वर्ष 2019
विधानसभा वोटिंग प्रतिशत
मलिहाबाद 64.99
बीकेटी 63.35
सरोजनीनगर 55.49
मोहनलालगंज 63.77
कुल 61.77


लखनऊ लोकसभा सीट
विधानसभा वोटिंग प्रतिशत
लखनऊ पश्चिम 55.29
लखनऊ उत्तर 55.42
लखनऊ पूर्व 55.7
लखनऊ मध्य 53.92
लखनऊ कैंट 50.77
कुल 57.68

60 फीसदी नहीं पहुंचा प्रतिशत
अब अगर लखनऊ सीट के अंतर्गत आने वाली पांच विधानसभाओं की बात करें तो कहीं भी वोटिंग प्रतिशत 60 प्रतिशत नहीं पहुंचा था। सर्वाधिक वोटिंग प्रतिशत लखनऊ उत्तर विधानसभा सीट में 55.42 प्रतिशत हुई थी। दूसरे नंबर पर वोटिंग प्रतिशत लखनऊ पूर्व की सीट थी। यहां वोटिंग प्रतिशत 55.7 के करीब था। सबसे कम वोटिंग प्रतिशत कैंट सीट पर 50.77 हुुई थी।

वोटिंग प्रतिशत बढ़ाने का लक्ष्य
इस बार दोनों ही लोकसभा सीटों पर वोटिंग प्रतिशत बढ़ाने का लक्ष्य रखा गया है। इसके लिए दोनों ही सीटों पर वोटर्स को जागरुक करने का प्रयास शुरू कर दिया गया है। स्कूल कालेजों से लेकर सभी क्षेत्रों में वोटर्स जागरुकता कार्यक्रम किए जा रहे हैं। जिला निर्वाचन अधिकारी की ओर से खुद वोटर्स जागरुकता प्रोग्राम की निगरानी की जा रही है। अलग-अलग विधानसभाओं के लिए टीमें गठित की गई हैैं, जो वोटर्स जागरुकता अभियान का संचालन कर रही हैं।

नाम हटवा लें
अगर आपका नाम वोटर लिस्ट में दो बार है तो इसकी जानकारी तुरंत बीएलओ को दें या वोटर हेल्पलाइन के माध्यम से आवेदन करते हुए अपना नाम हटवा देंं। अगर ऐसा नहीं करते हैैं तो आपके नाम पर दो वोटर आईडी कार्ड बन जाते हैैं तो आपको विधिक कार्रवाई का भी सामना करना पड़ सकता है।

अभी 16 अप्रैल तक का समय
अगर आप वोटर हैैं या आपका नाम वोटर लिस्ट में नहीं है तो आप वोटर हेल्पलाइन एप के माध्यम से दोनों ही बिंदुओं पर आवेदन कर सकते हैैं। बस इतना ध्यान रखना होगा कि आप वोटर लिस्ट से अपना या फैमिली के किसी अन्य मेंबर का नाम हटवा नहीं सकते हैैं। वहीं दूसरी तरफ वोटर हेल्पलाइन या 1950 पर आने वाली हर एक कॉल की चुनाव सेल की ओर से मानीटरिंग की जा रही है। जिससे हर एक शिकायत का समयबद्ध तरीके से निस्तारण किया जा सके। वहीं बीएलओ को भी निर्देश दिए गए हैैं कि अगर कोई वोटर उन्हें फोन करें तो प्रॉपर रिस्पांस दें।

वोटर पर्ची सभी को मिले
जिला निर्वाचन अधिकारी की ओर से निर्देश दिए जा चुके हैैं कि सभी वोटर्स को समय से वोटर पर्ची मिले। अगर किसी वोटर को वोटर पर्ची नहीं मिलती है तो संबंधित बीएलओ से सवाल जवाब किए जाएंगे। जो समयावधि तय की गई है, उसके अंतर्गत ही वोटर पर्ची वोटर के पास पहुंच जानी चाहिए।