लखनऊ (ब्यूरो)। अगर आप आवास एवं विकास परिषद की आवासीय संपत्ति खरीदने की प्लानिंग कर रहे हैैं, तो आपके लिए राहत भरी खबर है। अब आप महज 10 हजार रुपये अधिकतम भुगतान करके परिषद की संपत्ति को अपना बना सकते हैैं। यह निर्णय बुधवार को परिषद की 261वीं बोर्ड बैठक में हुआ है। यह भी स्पष्ट है कि यह सुविधा ग्रुप हाउसिंग पर लागू नहीं होगी।

सर्किल दर के कारण बैकफुट पर

अभी तक की बात की जाए तो सर्किल दर अधिक होने की वजह से लोग परिषद की आवासीय संपत्ति का म्युटेशन कराने में बैकफुट पर नजर आते थे, लेकिन अब बोर्ड बैठक में हुए निर्णय के बाद लोगों को बड़ी राहत मिली है। परिषद में अभी तक आवासीय संपत्तियों के आवंटन के बाद आवंटी पूरा भुगतान करके अपनी संपत्ति बेच सकते थे। इसमें संपत्ति को खरीदार के नाम म्युटेशन करने में परिषद सर्किल दर का एक प्रतिशत शुल्क लेता रहा है। इसे ऐसे समझ सकते हैं कि यदि किसी आवासीय संपत्ति की 45 लाख रुपये सर्किल दर रही, तो म्युटेशन में 45 हजार रुपये शुल्क देना पड़ता था।

कॉमर्शियल संपत्तियां शामिल नहीं

परिषद ने संपत्तियों के म्युटेशन में कॉमर्शियल संपत्तियों को शामिल नहीं किया गया है। इससे साफ है कि कॉमर्शियल संपत्ति के म्युटेशन पर एक प्रतिशत का शुल्क ही देना होगा। इसी तरह से परिषद ने कार्मिकों, पेंशनरों व पारिवारिक पेंशनरों को एक जनवरी 2023 से 42 प्रतिशत की दर से महंगाई भत्ता देने का भी निर्णय लिया है। बैठक में आवास एवं शहरी नियोजन विभाग के अध्यक्ष नितिन रमेश गोकर्ण की अध्यक्षता में कुल नौ प्रस्तावों पर मुहर लगी। बैठक में आवास आयुक्त रणवीर प्रसाद, अपर आवास आयुक्त व सचिव डॉ। नीरज शुक्ला, अपर आयुक्त ईशान प्रताप सिंह, बिपिन कुमार मिश्र, प्रतिनिधि प्रमुख सचिव नगर विकास कल्याण बनर्जी आदि मौजूद रहे।