लखनऊ (ब्यूरो)। नगर निगम की ओर से कार्यकारिणी में रखे गए बजट में मुख्य फोकस सफाई के साथ-साथ पेयजल व्यवस्था पर रहा। एक तरफ जहां तय हुआ कि 15 दिन के अंदर सभी सबमर्सिबल दुरुस्त किए जाएंगे, तो वहीं इनके मेंटीनेंस के लिए भी धनराशि की व्यवस्था की गई। इससे 110 वार्डों में रहने वाली जनता को पेयजल संकट का सामना नहीं करना पड़ेगा।

2 करोड़ की धनराशि दी गई

राजधानी के कई इलाकों जैसे आलमबाग, इस्माइलगंज द्वितीय, सरोजनी नगर इत्यादि में सबमर्सिबल खराब होने संबंधी कंपलेन सामने आती रहती हैैं। निगम प्रशासन के पास बजट न होने की वजह से इनका मेंटीनेंस नहीं हो पा रहा था, जिसकी वजह से जनता को पेयजल संकट का सामना करना पड़ रहा था। इस समस्या को ध्यान में रखते हुए शहर सरकार की ओर से बजट में दो करोड़ रुपये की धनराशि दी गई है, जिसके माध्यम से सबमर्सिबल का मेंटीनेंस कराया जाएगा।

पेयजल लाइन की मरम्मत भी

राजधानी के पुराने वार्डों में अक्सर पेयजल लाइन टूटने की समस्या सामने आती है। इसकी मरम्मत के लिए भी बजट दिया गया है। सभी वार्ड मिलाकर करीब चार करोड़ रुपये की धनराशि दी गई है। इसी तरह नलकूपों पर 9.5 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। कार्यकारिणी में रेन वॉटर हॉर्वेस्टिंग पर फोकस किया गया। हालांकि, यह कवायद पिछले बजट में भी हुई थी, पर अभी तक इस दिशा में व्यापक कदम नहीं उठाए गए हैैं। इस बार रेन वॉटर हॉर्वेस्टिंग सिस्टम पर दो करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। सभी सरकारी कार्यालयों में रेन वॉटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगाए जाने का निर्णय लिया गया है। इसके साथ ही मॉनीटरिंग सेल भी बनाई जाएगी। इस प्रस्ताव को सदन में रखा जाएगा।

इस तरह दूर होगा संकट

-50 लाख खर्च होंगे हैैंडपंप रिपेयरिंग में

-50 लाख खर्च होंगे सीवेज पंपिंग स्टेशन रिपेयरिंग में

-1 करोड़ 10 लाख खर्च होंगे ट्यूबवेल संचालन में

-25 लाख खर्च होंगे मिनी ट्यूबवेल संचालन में

पेयजल संकट को दूर करने के लिए अलग-अलग मदों में बजट की व्यवस्था की गई है। हमारा प्रयास यही है कि किसी भी वार्ड की जनता को पेयजल संकट का सामना न करना पड़े।

-संयुक्ता भाटिया, मेयर