- सीसीएस यूनिवर्सिटी व कॉलेजों का सिलेबस हुआ अलग

- यूनिवर्सिटी में हुई सभी विभागों के डीन की मीटिंग में हुआ फैसला

Meerut- सीसीएस यूनिवर्सिटी में शिक्षा का स्तर सुधारने के लिए यूनिवर्सिटी प्रशासन की तरफ से लगातार प्रयास किए जा रहे हैं, जिसमें पीजी लेवल पर यूनिवर्सिटी में एडमिशन, एग्जाम और सिलेबस में काफी बदलाव किए जा रहे हैं। शनिवार को यूनिवर्सिटी के सभी विभागों के डीन की बैठक में इसी सत्र से सीबीसीएस यानि च्वाइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम लागू करने का फैसला लिया गया। कर दिया गया है।

नंबर नहीं मिलेंगे ग्रेड

इस नए सिस्टम से यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाले छात्र कोर सब्जेक्ट के साथ कई तरह के इलेक्टिव कोर्स भी पढ़ेंगे। यूनिवर्सिटी के छात्रों की मार्कशीट पर नंबर की जगह ग्रेड दिखेंगे। यह बदलाव इसी शैक्षणिक सत्र 2016-17 से शुरू हो रहा है। क्रेडिट सिस्टम लागू होने के बाद पीजी स्तर पर नंबर की जगह छात्रों को ग्रेड मिलेगा। साथ ही हर छात्र को कोर कोर्स के साथ ही इलेक्टिव सब्जेक्ट को भी चुनना होगा। इलेक्टिव कोर्स के लिए सभी विभाग में कई विषय के विकल्प दिए गए हैं। जिसे शुरू करना है।

चालीस से अधिक इलेक्टिव कोर्स

यूनिवर्सिटी ने इलेक्टिव सब्जेक्ट में करीब चालीस से अधिक विषय का विकल्प दिया है, जिसमें पुस्तकालय सहायक, कंप्यूटर एप्लीकेशन, व्यक्तित्व विकास, संवाद कौशल, कृषि सांख्यिकी, टीचिंग स्किल्स, फोटोग्राफी, ऑपरेशन रिसर्च, माइक्रोइक्रोनॉमिक्स, इकोनॉमिट्री, म्यूजियम, हरबेरियम, सोशल फारेस्ट्री आदि कई कोर्स शुरू होंगे। इसके अलावा कुछ और भी कोर्स शुरू होंगे।

पढ़ सकेंगे कई सब्जेक्ट

कैंपस में क्रेडिट सिस्टम लागू होने से कोई छात्र अगर एमए में प्रवेश लेता है तो वह अपने पसंद का कोई भी एक इलेक्टिव सब्जेक्ट ले सकता है। एमए ¨हदी का छात्र ऑपरेशन रिसर्च का कोर्स कर सकता है, एमएससी का छात्र कला या किसी भी विषय के इलेक्टिव कोर्स को चुन सकता है। इसके साथ ही कोई छात्र जितने चाहे उतने इलेक्टिव कोर्स में पढ़ाई कर सकते हैं। यूनिवर्सिटी इसके लिए छात्र को बाध्य नहीं कर सकता है, हां छात्र को किसी एक इलेक्टिव कोर्स में ही परीक्षा देनी होगी, जिसका उल्लेख छात्र के मार्कशीट पर होगा।

क्रेडिट के बाद कैंपस में यह होगा बदलाव

- शैक्षणिक सत्र 2016-17 में कैंपस और कॉलेज की प्रवेश प्रक्रिया अलग होगी।

-हर सेमेस्टर में चार कोर सब्जेक्ट और एक इलेक्टिव सब्जेक्ट छात्र को लेना होगा।

- इलेक्टिव कोर्स में कम से कम दस और अधिक से अधिक तीस छात्र प्रवेश लेंगे।

- कोर सब्जेक्ट में 24 क्रेडिट और इलेक्टिव कोर्स में चार क्रेडिट निर्धारित होंगे।

- अभ्यर्थी पीजी स्तर पर डिग्री पूरी करने के साथ 104 क्रेडिट हासिल करेंगे।

- हर विभाग में कम से कम दो इलेक्टिव कोर्स संचालित करने होंगे।

सीबीसीएस में ये होगा बदलाव

यूनिवर्सिटी में सीबीसीएस लागू होने के बाद छात्रों को यूनिवर्सिटी में ज्यादा च्वाइस मिलेगी। स्टूडेंट्स संबंधित सब्जेक्ट में सबसे बेहतर फैकल्टी व लैब का प्रयोग कर सकेंगे। एक स्टूडेंट को कई फैकल्टी से इंटरेक्शन करने का मौका मिलेगा। साथ ही कैम्पस व कॉलेज की प्रवेश प्रक्रिया अलग-अलग होगी। सिलेबस भी अलग किया जाएगा।