-माध्यमिक विद्यालयों के टीचर्स के डाक्यूमेंट की भी शुरू हुई जांच

-कोरोना महामारी को देखते हुए यूपी बोर्ड ने स्कूल को दिया निर्देश

-संबंधित अध्यापकों को भी अपने स्तर से वेरीफिकेशन कराने का सुझाव

शासन ने माध्यमिक विद्यालयों के अध्यापकों के मार्कशीट व सर्टिफिकेट का भी नए सिरे से वेरीफिकेशन कराने का निर्देश दिया है। विभिन्न जिलों से संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय में अध्यापकों के अंकपत्र और प्रमाणपत्र वेरीफिकेशन को आ रहे हैं। विश्वविद्यालय ने मार्कशीट का सत्यापन भी शुरू कर दिया था। इस बीच कोरोना महामारी का प्रकोप बढ़ जाने से सत्यापन भी प्रभावित हुआ है। फिलहाल विश्वविद्यालय बंद चल रहा है। यही हाल देश के अन्य यूनिवर्सिटीज का भी है। इसे देखते हुए यूपी बोर्ड ने विद्यालयों से ऑनलाइन परीक्षा अभिलेखों की जांच करने का निर्देश दिया है।

स्कूल लेवल पर वेरीफिकेशन का निर्देश

संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय में सन् 2010 से ही रिजल्ट ऑनलाइन किया है। इसी प्रकार महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ सहित सूबे के अन्य यूनिवर्सिटीज ने भी परीक्षार्थियों का विवरण ऑनलाइन किया हुआ है। ऐसे में इंटरनेट के माध्यम से घर बैठे भी सत्यापन किया जा सकता है। यही नहीं यूपी बोर्ड सहित अन्य बोर्ड का भी परीक्षा परिणाम अब ऑनलाइन सत्यापित किया जा सकता है। इसे देखते हुए बोर्ड ने विद्यालय स्तर व डीआइओएस स्तर पर संबंधित अध्यापकों का मार्कशीट सत्यापित करने का निर्देश दिया है। इसके अलावा संबंधित संस्था से भी भौतिक सत्यापन कराने का सुझाव दिया है। कुछ विश्वविद्यालयों में अंकपत्रों के सत्यापन के लिए शुल्क भी निर्धारित है। डीआइओएस डॉ। वीपी सिंह ने ऐसी संस्था के प्रमाणपत्रों के सत्यापन की जिम्मेदारी प्रबंध तंत्र को सौंप दी है। इसके अलावा संबंधित अध्यापकों को भी अपने स्तर से सर्टिफिकेट का सत्यापन कराने का निर्देश दिया गया है। फिलहाल पूरे देश में कोरोना की लहर चल रही है। ऐसे में सत्यापन प्रक्रिया भी बाधित हुई है। अब जुलाई से सत्यापन में तेजी आने की संभावना है।

1130 टीचर्स की डिग्री फर्जी

संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय की फर्जी डिग्री पर सूबे के विभिन्न जिलों के बेसिक स्कूल्स में 1130 टीचर्स अब भी नौकरी कर रहे हैं। इसमें वाराणसी में 28 टीचर्स हैं। जांच कर एसआइटी रिपोर्ट शासन को सौंप चुकी है। ऐसे शिक्षकों पर जल्द कार्रवाई की संभावना है। कोरोना के चलते कार्रवाई की प्रक्रिया परवान नहीं चढ़ पा रही है।