-इस बार रक्षा बंधन पर बन रहे है तीन शुभ संयोग

-सावन के अंतिम सोमवार की पूर्णिमा व श्रवण नक्षत्र का बन रहा विशेष संयोग

रक्षाबंधन के दिन विशेष और शुभ संयोग बन रहा है। इस बार सावन के अंतिम सोमवार यानि तीन अगस्त को सावन पूíणमा व श्रवण नक्षत्र के एक साथ पड़ने से एक महासंयोग बन रहा है। ज्योतिषाचार्यो के अनुसार यह बहुत ही उत्तम संयोग है जो कई सालों बाद इस साल बन रहा है।

संयोग बहुत कल्याणकारी

रक्षाबंधन पर बन रहे सावन पूर्णिमा व श्रवण नक्षत्र के विशेष संयोग से बहन-भाइयों को विशेष लाभ मिलेगा। ज्योतिषाचार्यो के अनुसार तीन अगस्त को सुबह 6:51 बजे से ही सर्वार्थ सिद्धि योग शुरू हो रहा है। इसमें पूजन व शुभ कार्य करने से अक्षय फल प्राप्ती होती है ।

12 घंटे तक रहेगा राहुकाल -

पंडित चंद्रभूषण शुक्ला ने बाताया कि रक्षाबंधन के एक दिन पूर्व यानि दो अगस्त रविवार को रात 8.36 मिनट से लेकर अगले दिन 3 अगस्त सोमवार सुबह 8:31 मिनट तक भद्रा काल रहेगा।

पंडित चंद्रभूषण ने बताया कि इस समयावधि में राखी बांधना शुभ संकेत नहीं है। उन्होंने बताया कि रक्षाबंधन के लिए शुभ मूहूर्त सुबह 8.31 बजे से रात 8.20 बजे तक विशेष मुहूर्त रहेगा जिस दौरान बहनें अपने भाई को किसी भी समय राखी बांध सकेंगी ।

9 बजे के बाद का समय उत्तम

ज्योतिष पं सुनील त्रिपाठी के अनुसार इस दिन राहु काल सुबह 7.30 से 9 बजे तक रहगा इसलिए 9 बजे के बाद ही जब शुभ चौघडि़या मिल जाए तब रक्षा बंधन का कार्य करना अति उत्तम होगा । हालांकि उन्होंने कहा कि शुभ मुहूर्त सुबह 8:31 बजे से राखी बांध सकते है। राखी बांधते वक्त सबसे पहले भाई को पूर्व दिशा की तरफ मुंह करके बैठाना चाहिए। इसके बाद बहन को अच्छे से पूजा की थाली सजाकर उसमें चावल, रोली, राखी और दीपक रखना चाहिए। बहनों को भाई को अपनी अनामिका उंगली से चावल और रोली का टीका लगाना चाहिए इसके पश्चात भाई की आरती उतारनी चाहिए .और अंतिम में भाई के दाहिनी कलाई पर रेशम के धागे या रक्षा सूत्र से बंधी राखी बांधनी चाहिये ।