वाराणसी (ब्यूरो)वाहनों के बढ़ते दबाव व अतिक्रमण के चलते शहर में यातायात की समस्या विकराल होती जा रही हैअवैध वाहन और नियमों को दरकिनार कर चलने वाले यातायात को ध्वस्त कर देते हैं तो अतिक्रमण सड़कों को और संकरा बना रहा हैइन सड़कों पर स्कूल बस, निजी बस, -बस समेत रोडवेज बसों के चलने से हर वक्त जाम की स्थिति रहती हैबावजूद इसके बनारस में लगातार स्मूथ ट्रैफिक के लिए कमिश्नरेट पुलिस काम कर रही हैरोडवेज से निजी वाहनों को हटा दिया गया हैजी-20 सम्मेलन से पहले बनारस में बहुत बदलाव भी दिखेगाउक्त बातें दैनिक जागरण आईनेक्स्ट की ओर से रविवार को आयोजित वाराणसी कॉलिंग वेबिनार में एडीसीपी ट्रैफिक दिनेश पुरी ने कहीवेबिनार के दौरान आए सवालों का उन्होंने जवाब दियाएडीसीपी ट्रैफिक ने कहा कि बनारस के 58 चौराहों पर टाइमर ट्रैफिक सिग्नल लगेगाइसके साथ कुल 78 चौराहों का सिंग्नल एक-दूसरे से कनेक्ट हो जाएगास्मूथ व सुव्यवस्थित यातायात के लिए टै्रफिक पुलिस को स्पेशल ट्रेनिंग दी जा रही है.

सवाल : शहर में प्रेशर हॉर्न, मॉडीफाई साइलेंसर, बिना नंबर व डैमेज प्लेट की गाडिय़ों की भरमार हैकुछ गाडिय़ां तो फर्जी नंबर प्लेट लगाकर चल रही हैंयातायात पुलिस को भी अवगत कराया जाता है, बावजूद इसके कार्रवाई नहीं होती है.

-जसबीर सिंह बग्गा

जवाब : शिकायतों के आधार पर शहर में प्रेशर हॉर्न, मॉडीफाई साइलेंसर, बिना नंबर व डैमेज प्लेट की गाडिय़ों के खिलाफ अक्सर कार्रवाई होती हैबड़ी संख्या में चालान भी होता हैइसके लिए आरटीओ व ट्रैफिक पुलिस की ओर से टीम गठित की गई है, जिसका यही काम ही है.

सवाल : शहर में तमाम चौराहों पर सिंग्नल लाइट लगी है, जिस पर टाइम नहीं शो होता हैइसके लिए कितनी देर तक खड़ा होना है, इसकी जानकारी नहीं होती हैअगर टाइमर होता तो वाहन चालक अपनी गाड़ी बंद कर सकते हैंइससे पेट्रोल बचेता और प्रदूषण भी कम होगा

-कन्हैया मौर्या

जवाब : शहर में जिन चौराहों पर सिंग्नल लाइट लगी है, वह स्मार्ट सिटी योजना के तहत हैस्मार्ट सिटी वालों ने टाइमर वाली सिंग्नल लाइट की डिमांड नहीं की होगीशहर के शेष 58 चौराहों पर बहुत जल्द ही ट्रैफिक विभाग की ओर से सिंग्नल लाइट लगवाई जाएगी, जो टाइमर वाला होगा.

सवाल : शहर में कई जगहों पर पहले कट था, जिसे बंद कर दिया गया हैइसके चलते बहुत लम्बा घूमकर जाना पड़ता हैमैदागिन से गौदोलिया तक मार्ग पर भी अक्सर वन-वे रहता हैइससे भी परेशानी होती है

-शशांक साहू

जवाब : अचानक कट या वन-वे नहीं किया जाता हैइसके लिए लोकल और शासन स्तर की टीम सर्वे करती हैसर्वे रिपोर्ट के आधार पर लोकल स्तर पर अध्ययन किया जाता हैइसके लिए बाद ही कट बंद किया जाता है, ताकि टै्रफिक स्मूथ चलता रहे.

सवाल : अंधरापुल, लंका समेत कई जगह है, जहां हमेशा ट्रैफिक मिलता हैअंधरापुल से होकर अक्सर आना-जाना होता है, यहां पर विशेष काम करने की जरूरत है

-प्रतीक गुप्ता

जवाब : शहर के जाम प्वाइंट चिन्हित है, जिस पर लगातार मंथन चल रहा हैअंधरापुल अब जाम कम लगता हैनदेसर से अंधरापुल वाला मार्ग चार पहिया वाहन के लिए खोले जाने के बाद काफी राहत हुई हैरेड सिग्नल की वजह से अंधरापुल पर वाहन रुकता है, वह जाम नहीं है.

सवाल : फुलवरिया फ्लाईओवर का निर्माण और रॉग साइट से चलने की वजह से लहरतारा चौराहे पर अक्सर जाम लगता है, जिसमें कबीर प्रकाट्य स्थल आने वाले लोग भी फंस जाते हैंइस ध्यान देेने की जरूरत है.

-गोविंद दास, महंत

जवाब : शहर में कई जगहों पर डेवलपमेंट का काम चल रहा हैइसे तो ट्रैफिक विभाग रोक नहीं सकता हैयह विकास की सतत प्रक्रिया हैरॉग साइट चलने वालों का चालान किया जाता हैपहले वहां अक्सर जाम लगता था, लेकिन अब कभी-कभार ही लगता है.

सवाल : शहर की सड़कों पर प्राइवेट बस, स्कूल बस और ई-बस की भरमार हो गई हैइनकी मनमानी के चलते अक्सर कैंट, सिगरा, अंधरापुल, लंका, चौक, मैदागिन में जाम लगता हैइन वाहनों पर कार्रवाई होनी चाहिए

-सौरभ राजपूत

जवाब : आरटीओ विभाग और ट्रैफिक पुलिस की ओर से इन पर सख्ती की जाती हैनियमों का उल्लंघन करने पर चालान किया जाता हैइनकी वजह से कई जगहों पर जाम लगता हैइससे निजात के लिए लगातार काम चल रहा है.