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एनजीटी के आदेशों का नहीं हो रहा पालन

प्रशासन की ओर से चल रहा प्रभावी अभियान फेल

ROORKEE:एनजीटी की ओर से गंगा किनारे के शहरों में पॉलीथिन की बिक्री और इस्तेमाल पर रोक लगाई गयी है.लेकिन एनजीटी के आदेशों का शिक्षानगरी में कड़ाई से पालन नहीं हो रहा है। धड़ल्ले से प्लास्टिक, थर्मोकोल से निर्मित थैलियां, ग्लास, पत्तल, दोने आदि का निर्माण, बिक्री और उपयोग जारी है। जबकि इनका उपयोग करते पाये जाने पर पांच हजार रुपये प्रति व्यक्ति, प्रति अपराध, प्रतिदिन के अनुसार अर्थदंड वसूले जाने का प्राविधान है। बीते काफी समय से इनके विरुद्ध प्रशासन की ओर से प्रभावी अभियान भी नहीं चला है।

क्0 दिसंबर ख्0क्भ् का आदेश

क्0 दिसंबर ख्0क्भ् के आदेश के अनुपालन में शिक्षानगरी में भी इसे पूर्ण रूप से प्रतिबंधित किया गया है। आदेशों का कड़ाई से पालन कराने को करीब तीन माह पूर्व नगर आयुक्त गोपाल सिंह चौहान की ओर से नगर सीमांतर्गत प्लैक्स लगा शहरियों से पॉलीथिन इस्तेमाल न करने की अपील की गई थी। जुर्माने के प्रावधानों से भी अवगत कराया गया था। कई दफा यापारियों की बैठक लेकर भी उन्हें एनजीटी आदेशों के बारे में जानकारी दी गई थी। बावजूद इसके पॉलीथिन का उपयोग और बिक्री जारी रही। हालांकि बीते दिनों निगम प्रशासन ने शहरी क्षेत्र में अभियान चलाकर बड़ी तादात में पॉलीथिन जब्त करने के साथ नियमानुसार जुर्माना भी लगाया था। सख्ती के चलते कई फल विक्रताओं ने पेपर पैकेट्स का इस्तेमाल शुरू किया लेकिन पिछले काफी समय से अभियान पर ब्रेक के चलते दुबारा से नगर और आसपास क्षेत्रों में धड़ल्ले से पॉलीथिन में सामानों की बिक्री देखी जा सकती है। इनमें फल सब्जी विक्रेता ही नहीं परचून से लेकर डेयरी और बड़े मिष्ठान विक्रेता भी शामिल हैं।

पॉलीथिन के विरुद्ध समय समय अभियान चलाया जा रहा है। पॉलीथिन जब्त करने के साथ जुर्माना भी लगाये जा रहे हैं। निगम के छोटे कूड़ा वाहनों के जरिये भी एनजीटी के आदेशों से संबंधित सूचनाएं प्रसारित कराई जा रही है। जल्द इसे लेकर प्रभावी अभियान चलाया जाएगा। इसके साथ ही अतिक्रमण के विरुद्ध भी अभियान चलेगा।

गोपाल सिंह चौहान, नगर आयुक्त, नगर निगम