पिछले चार दिनों से लगातार बारिश से कई इलाकों में त्राहिमाम, जल प्रलय में डूबा सिस्टम

पटना (ब्यूरो)। पूरा पटना झील में तब्दील हो गया है। पटना में एक भी इलाका ऐसा नहीं है जहां कमर भर पानी न हो। पटेल नगर का नाले ने नदी का रूप धारण कर लिया है। सबसे बुरी स्थिति वाले राजेंद्रनगर और कंकड़बाग इलाके में अपने घरों में फंसे लोगों को नावों से सुरक्षित निकाला जा रहा है। छह-सात फीट तक जलभराव की वजह से बच्चों और बुजुर्गो के साथ परिवार अपने ही मकानों में फंसे हैं। पटना जिला प्रशासन ने शहर में फंसे लोगों को राहत के लिए डेढ़ दर्जन नावें उतारी हैं, जो राजेंद्रनगर, बहादुरपुर, सैदपुर, कदमकुआं आदि इलाकों में चलाई जा रही हैं। पाटलिपुत्र कॉलोनी, राजीवनगर, संजय नगर, अनीसाबाद जैसे इलाकों में भी तीन से चार फीट तक पानी है। तेज बारिश के कारण कई जगह बिजली आपूर्ति ठप रही। रेल, हवाई और बस सेवाएं प्रभावित हैं। रविवार को एक दर्जन ट्रेनें निरस्त की गई। दो विमान डायवर्ट किए गए।

रेस्क्यू में लगी हैं टीमें
बताया गया कि जिला प्रशासन ने करीब डेढ़ दर्जन नावें उतारी हैं, जो राजेंद्रनगर, बहादुरपुर, सैदपुर, कदमकुआं आदि इलाकों में चलाई जा रही हैं। एनडीआरएफ-एसडीआरएफ की आधा दर्जन से अधिक टीमें जहां-तहां फंसे लोगों को निकाल रही हैं। संडे की सुबह राजेंद्रनगर और सैदपुर के हॉस्टलों से करीब 150 छात्राओं को एनडीआरएफ और कदमकुआं थाने की टीम ने रेस्क्यू किया। एनसीसी भवन में फंसे 400 कैडेट्स को दानापुर कैंट शिफ्ट किया गया है।

आठ लोगों की गई जान
इधर दानापुर स्टेशन के पास रविवार की सुबह ऑटो पर पेड़ गिरने के कारण एक ही परिवार के चार लोगों की मौत हो गई। सभी दुल्हिन बाजार के सिंघाड़ा कोपा के रहने वाले थे। जक्कनपुर, शास्त्रीनगर और कंकड़बाग में करंट से तीन लोगों की जान चली गई, जबकि नौबतपुर में दीवार गिरने से 55 वर्षीय शांति देवी की जान चली गई।

स्कूल-कॉलेज बंद, परीक्षाएं स्थगित
तेज बारिश और जलजमाव के कारण पटना के सभी स्कूल मंगलवार तक बंद कर दिए हैं। पटना विश्वविद्यालय, मगध विश्वविद्यालय और पाटलिपुत्र विश्वविद्यालय के कॉलेज भी सोमवार को बंद रहेंगे। आर्यभट्ट ज्ञान विवि, पाटलिपुत्र और मगध विवि की परीक्षाएं स्थगित कर दी गई हैं।

अधिकारी कर रहे टालमटोल
प्रशासन लोगों की मदद तो कर रहा है, लेकिन पूरी तरह सक्रिय नहीं दिख रहा है। पीडि़त लोगों की मानें तो प्रशासन के किसी अधिकारी या कर्मचारी को फोन करने पर कोई रिसीव नहीं कर रहा तो कोई टरका दे रहा है। यह कह कर कि यह नंबर दे रहा हूं, उस इलाके की जिम्मेदारी मेरी नहीं है।

हॉस्टल में 24 घंटे से भूखी रही लड़कियां
सबसे ज्यादा परेशानी हॉस्टलों में रहकर पढ़ाई कर रहे स्टूडेंट्स की है। राजेन्द्र नगर रोड नंबर 10 बी स्थित मैना कुटी में चल रहे ग‌र्ल्स हॉस्टल की है। यहां की छात्राओं को पिछले 24 घंटे से खाना नहीं मिला है। हॉस्टल का निचला हिस्सा पूरी तरह से जलमग्न है। दैनिक जागरण आई नेक्स्ट को फोन कर छात्राओं ने बताया कि वहां से निकालने की गुहार प्रशासन से लगा-लगाकर थक चुकी हैं। यहां तक की बच्चियों ने डीएम से भी गुहार लगाई है। दूसरी तरफ रविवार की सुबह राजेंद्रनगर और सैदपुर के हॉस्टलों से करीब 150 छात्राओं को एनडीआरएफ और कदमकुआं थाने की टीम ने रेस्क्यू किया। एनसीसी भवन में फंसे 400 कैडेट्स को दानापुर कैंट ट्रांसफर कर दिया गया है।

लोगों को आवाजाही में परेशानी
मूसलाधार बारिश की वजह से राजधानी के अधिकतर सड़कों पर 4 से 5 फीट जलजमाव है। पैदल तो दूर वाहन चलना भी मुश्किल है। वाहनों की संख्या कम होने से लोगों की आवाजाही कम हो गई है। लोग जहां-तहां फंसे हैं। पटना जंक्शन, दानापुर सहित जगहों से अपने गंतव्य की ओर जाने के लिए लोगों को कोई साधन नहीं मिल रहा है।

राहत और बचाव कार्य चल रहा है। लोगों को राशन-पानी मुहैया हो इसके लिए पटना जिला प्रशासन लगातार प्रयास कर रहा है। पानी निकालने के लिए संप हाउस को चालू कर दिया गया है।
- कुमार रवि, डीएम पटना
patna@inext.co.in

National News inextlive from India News Desk