शहर के लोगों को कोरोना के संक्रमण से बचाने के लिए भारी मात्रा में खर्च हुआ पेयजल

जिले में एनडीआरएफ, सीआरपीएफ, नगर निगम सहित फायर ब्रिगेड की ओर से किया जा सेनेटाईजेशन

शहर व जिले के लोगों को कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाने के लिए जिला प्रशासन की ओर से अब तक लगभग 60 हजार लीटर पेयजल सेनेटाइजेशन करने में खर्च हो चुका है। डेढ़ महीने से शहर में रोजाना कई इलाकों में सेनेटाइजेशन कराया जा रहा है। सेनेटाइजेशन में भारी मात्रा में पेयजल और हाईपोक्लोराइड केमिकल का इस्तेमाल हो रहा है।

एनडीआरएफ ने खर्च किया 22500

शहर में लॉकडाउन के दौरान राहत कार्यो में जुटी एनडीआरफ की ओर से अब तक कुल 22500 लीटर से ज्यादा पानी सेनेटाइजेशन में खर्च हो चुका है। एनडीआरएफ की ओर शहर में पिछले 45 दिनों से रोजाना किसी न किसी इलाके में सेनेटाइजेशन किया गया है। एनडीआरएफ के इंस्पेक्टर सिकंदर थापा ने बताया कि अभी तक 2500 लीटर से ज्यादा हाईपोक्लोराइड और 22500 लीटर से ज्यादा पानी खर्च हो चुका है। रोजाना लगभग 450 लीटर पानी खर्च होता है। एनडीआरएफ का छोटा टैंकर 500 लीटर का है। जिसमें भरे सेनेटाइजर में 90 पर्सेंट पानी और 10 पर्सेंट हाईपोक्लोराइड केमिकल होता है।

नगर निगम भी कर रहा सफाई

वहीं नगर निगम भी रोजाना हॉटस्पॉट सहित अन्य एरिया में सेनेटाइजेशन कर रहा है। निगम के नगर स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि अब तक शहर में हुए सेनेटाइजेशन में लगभग 20 हजार लीटर पानी खर्च हुआ है। इसमें लगभग 2 हजार लीटर हाईपोक्लारइड भी खर्च हुआ है। वहीं सीआरपीएफ भी सेनेटाइजेशन में लगा है। सीआरपीएफ की ओर से लगभग 36000 लीटर पानी खर्च हुआ है।