अहमदाबाद (एएनआई): 22 जनवरी को अयोध्या के राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा समारोह से पहले, गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेन्द्र पटेल ने 4600 किलो वजन का Dhwaja Dand और 450 किलोग्राम वजन का एक विशेष 'नगाड़ा' अहमदाबाद से अयोध्या के लिए एक खास रथ पर रखकर रवाना किया। उन्‍होंने इस रथ को हरी झंडी दिखाई। बता दें कि इस रथ का वजन 700 किलोग्राम है जिसे अखिल भारतीय दबगर समाज ने बनवाया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 22 जनवरी को राम मंदिर के प्रतिष्ठा समारोह में शामिल होने वाले हैं। कर्नाटक के मूर्तिकार योगीराज अरुण द्वारा बनाई गई मूर्ति को 22 जनवरी को राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा के लिए अंतिम रूप दिया गया है, जिसकी प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को होगी।

हनुमान की भूमि कर्नाटक से रामलला के चरणों में दी गई खास सेवा
केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने सोमवार को अपने सोशल मीडिया हैंडल पर इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि हनुमान की भूमि से आने वाले प्रसिद्ध मूर्ति-निर्माता द्वारा बनाई गई मूर्ति 22 जनवरी को राम मंदिर में सभी को गौरवान्वित करेगी। जहां राम हैं, वहां हनुमान हैं, अयोध्या में भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा के लिए मूर्ति ने अंतिम रूप ले लिया गया है। हमारे देश के प्रसिद्ध मूर्तिकार, हमारे गौरव श्री @ योगीराज_अरुण द्वारा बनाई गई भगवान राम की मूर्ति होगी अयोध्या में स्थापित हो रही है। जोशी ने अपने पोस्ट में कहा है कि यह राम-हनुमान के अटूट रिश्ते का एक और उदाहरण है। इसमें कोई गलती नहीं है कि यह हनुमान की भूमि कर्नाटक से रामलला के लिए एक महत्वपूर्ण सेवा की जा रही है। इस आयोजन के लिए तैयारियां जोरों पर चल रही हैं, जिसमें हजारों गणमान्य व्यक्तियों और समाज के सभी वर्गों के लोगों के शामिल होने की उम्मीद है। बता दें कि अयोध्या में राम लला की प्राण-प्रतिष्ठा (अभिषेक) समारोह के लिए वैदिक अनुष्ठान मुख्य समारोह से एक सप्ताह पहले ही 16 जनवरी को शुरू हो जाएगा। वाराणसी के पुजारी, लक्ष्मी कांत दीक्षित, 22 जनवरी को राम लला के अभिषेक समारोह का मुख्य अनुष्ठान करेंगे।

हजारों श्रद्धालुओं के लिए अयोध्‍या में बन रहीं टेंट सिटीज
14 जनवरी से 22 जनवरी तक, अयोध्या में अमृत महाउत्सव मनाया जाएगा। इस दौरान 1008 हुंडी महायज्ञ का भी आयोजन किया जाएगा, जिसमें हजारों श्रद्धालुओं को भोजन कराया जाएगा। भगवान राम के भव्‍य अभिषेक के लिए यूपी में मंदिरों के शहर में हजारो श्रद्धालुओं के पहुंचने की उम्मीद है, जिसको देखते हुए उन्‍हें ठहराने के लिए अयोध्या में कई जगह पर टेंट सिटी बनाई जा रही हैं। श्री राम जन्मभूमि ट्रस्ट के मुताबिक इस आयोजन के दौरान 10,000-15,000 लोगों के ठहरने की व्यवस्था की जाएगी.

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