--झारखंड भाजपा का सनसनीखेज आरोप, 100 करोड़ का है शिबू सोरेन का कुनबा

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भाजपा के आरोप

---16 जमीन की रजिस्ट्री हुई थी 30 मार्च 2007 को

---5.28 एकड़ जमीन की हुई थी खरीदारी

---100 करोड़ से अधिक हो गई सोरेन परिवार की संपत्ति

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RANCHI(8 छ्वह्वद्य4): भाजपा ने नेता प्रतिपक्ष हेमंत सोरेन के परिवार पर 100 करोड़ से अधिक की संपत्ति अर्जित करने का आरोप लगाया है। भाजपा की मानें तो यह संपत्ति गलत तरीके से अर्जित की गई है। भाजपा ने यह भी कहा कि हेमंत ने चुनाव आयोग में दाखिल हलफनामे में भी झूठे तथ्य दाखिल किए थे। जिसकी शिकायत पार्टी आयोग से करेगी। शनिवार को भाजपा प्रदेश कार्यालय में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष आदित्य साहू और समीर उरांव ने हेमंत सोरेन और उनके परिवार द्वारा खरीदी गई जमीन का ब्योरा साक्ष्य के साथ प्रस्तुत किया।

चुनाव आयोग से छिपाया

कहा गया कि हेमंत सोरेन ने वर्ष 2014 में चुनाव आयोग के समक्ष जो हलफनामा दाखिल किया था उसमें कई चौकाने वाले तथ्य हैं और कई चीजों को छिपाया भी गया है। 30 मार्च 2007 को एक ही दिन हेमंत सोरेन ने 16 रजिस्ट्री के जरिए विभिन्न स्थानों पर 5.28 एकड़ जमीन खरीदी। भाजपा का आरोप है कि सोरेन परिवार ने अपनी सभी संपत्तियों को अंडर वैल्यू करके दिखाया है। एक मोटे अनुमान के अनुसार सोरेन परिवार की संयुक्त संपत्ति 100 करोड़ से ज्यादा की है। यह सिर्फ प्रारंभिक अनुमान है, इनकी वास्तविक संपत्ति कई गुना ज्यादा हो सकती है।

पत्नी की जमीन भी छिपाने का आरोप

समीर उरांव ने कहा कि हेमंत ने वर्ष 2014 को चुनाव आयोग में दाखिल हलफनामे में अपनी पत्‍‌नी कल्पना मुर्मू के द्वारा राजू उरांव से खरीदी गई जमीन के ब्योरे को छिपाया है। राजू उरांव की इस जमीन में आज करोड़ों रुपये से बना सोहराई हाल चल रहा है। हेमंत की पत्‍‌नी ने इस प्लांट को नौ मार्च 2009 में खरीदा था लेकिन हेमंत ने यह जानकारी चुनाव आयोग से छिपाई। चुनाव आयोग में दाखिल हलफनामे में अपना या अपनी पत्‍‌नी की संपत्ति को छिपाना अत्यंत गंभीर मामला बनता है। भाजपा ने चुनाव आयोग से आग्रह किया है कि वह पूरे मामले को संज्ञान में लेकर उचित कार्रवाई करे। इस मौके पर प्रदेश प्रवक्ता राजेश कुमार शुक्ला, प्रतुल शाहदेव और मीडिया प्रभारी शिवपूजन पाठक भी उपस्थित थे।

--बॉक्स---

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भाजपा के आरोप

- हेमंत ने अपनी पत्‍‌नी कल्पना सोरेन के नाम पर चार जुलाई 2009 को इडेन ग‌र्ल्स हास्टल, लालपुर को खरीदा और इसके लिए 4.16 लाख का भुगतान किया गया जबकि उस समय इस हास्टल का बाजार मूल्य पांच करोड़ रुपये था। इस हास्टल का एरिया 13340 वर्ग फीट है।

- हेमंत ने अपनी पत्‍‌नी के नाम पर हरमू रांची की प्लाट संख्या 1975 को छह फरवरी 2009 में खरीदा। 3000 वर्ग फीट के इस प्रापर्टी को हेमंत ने मात्र 5.25 लाख में खरीदा था। जबकि उस समय इस प्रापर्टी का बाजार मूल्य 90 लाख था। आज हेमंत इसकी कीमत 80 लाख बता रहे हैं जबकि हरमू में इस प्राइम प्लाट की कीमत 1.50 करोड़ से कम नहीं है।

- चुनाव आयोग में वर्ष 2014 में दाखिल शपथ पत्र में हेमंत ने अपनी कुल प्रापर्टी की कीमत 1.10 करोड़ और अपनी पत्‍‌नी के प्रापर्टी की कीमत 1.50 करोड़ बताई थी। हेमंत ने अपना पेशा खेती बताया था जबकि इनकी पत्‍‌नी की आय का स्रोत क्या है, इस बारे में वह चुप हैं।

- भाजपा यह जानना चाहती है कि हेमंत के पास वह कौन सी जादू की छड़ी है कि वे जो भी प्रापर्टी खरीदते हैं, मात्र 5-7 वर्षो में उसकी कीमत 10 से 20 गुना बढ़ जाती है।

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हेमंत सोरेन बोले-----

कागज पर चिल्ला रही भाजपा, निर्वाचन आयोग क्यों नहीं जाती

रांची : अवैध तरीके से 100 करोड़ से अधिक की परिसंपत्ति अर्जित करने का भाजपा द्वारा लगाए गए आरोप पर नेता प्रतिपक्ष हेमंत सोरेन ने पलटवार किया है। उन्होंने भाजपा को साहुकारों की पार्टी बताते हुए आरोप लगाने वालों को पहले अपने गिरेबां में झांकने की नसीहत दी। उन्होंने कहा कि भाजपा जैसा नंगा नाच कर रही है, सही समय पर वे उसका माकूल जवाब देंगे। 100 सुनार की जो एक लोहार की पड़ेगी। यूपीए से राष्ट्रपति की उम्मीदवार मीरा कुमार के साथ बैठकी के बाद वे शनिवार को मीडिया से मुखातिब थे।

हेमंत सोरेन ने कहा कि राज्य ही नहीं पूरे देश के आदिवासियों, दलितों, वंचितों का शोषण करने वाली भाजपा को आज अपने ही लोगों पर भरोसा नहीं रहा। वह 'चोर मचाए शोर' वाली कहावत को चरितार्थ कर रही है। चुनाव के वक्त गलत हलफनामा देने की जो तोहमत भाजपा उनपर और उनके परिवार पर लगा रही है, वह सामने क्यों नहीं आती। अपने आरोपों को लेकर निर्वाचन आयोग तक क्यों नहीं जाती। अखबारों में बने रहने के लिए वह सिर्फ कागज दिखाकर क्यों चिल्ला रही है।