रांची (ब्यूरो) । शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा आयोजित एक भारत श्रेष्ठ भारत युवा संगम कार्यक्रम के अंतर्गत रांची विश्वविद्यालय से क्रमश: दिवाकर आनंद, पुरषोत्तम कुमार, सुरभि कुमारी, दीक्षा कुमारी, अंकित कुमार, दीपशिखा, कशिश नाज, निरंजन कुमार, अनुग्रह सहित झारखण्ड से कुल 50 प्रतिभागियों ने युवा संगम कार्यक्रम भाग लिया। यह कार्यक्रम सेंट्रल यूनिवर्सिटी, भटिंडा, पंजाब में 09 मार्च से 16 मार्च 2024 कोआयोजित हुई। इस कार्यक्रम में रांची विश्वविद्यालय सहित झारखंड राज्य के सभी प्रतिभागियों ने भटिंडा, फिरोजपुर, अमृतसर के प्रसिद्ध स्थलों का भ्रमण किया और सिख धर्म के गौरवशाली इतिहास तथा पंजाब की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के बारे में जाना।

श्रद्धांजलि अर्पित की

सभी प्रतिभागियों ने जलियांवाला बाग का भ्रमण किया और मातृभूमि के लिए अपने प्राण की आहुति देने वाले स्वतंत्रता सेनानियों को श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने श्री हरमंदिर साहिब (स्वर्ण मंदिर) में माथा टेका और कीर्तन सुना। विद्यार्थियों ने जाति और रंग भेदभाव की भेदभाव से परे जमीन पर बैठकर पंजाब के अपने दोस्तों के साथ लंगर ग्रहण किया साथ ही साथ हुसैनीवाला, अटारी-बाघा बॉर्डर की यात्रा करके परेड रिट्रीट समारोह में भाग लिया। इस समारोह ने विद्यार्थियों में देशभक्ति और भाईचारे की भावना को प्रफुल्लित किया। विद्यार्थियों ने पंजाब के अन्य धार्मिक और पर्यटन स्थल का दौरा किया। जिनमें तख्त श्री दमदमा साहिब, नेताजी सुभाष राष्ट्रीय खेल संस्थान पटियाला, रॉक गार्डन चंडीगढ़ आदि शामिल था। विद्यार्थियों ने झारखंड की सांस्कृतिक धरोहर को पंजाब के युवाओं के साथ साझा किया एवं अपनी कला संस्कृति को अपनी कला के माध्यम से खूब जलवा बटोरा।

चौथे चरण की शुरुआत

शिक्षा मंत्रालय ने झारखंड के विभिन्न हिस्सों से आने वाले 50 छात्रों के एक प्रतिनिधिमंडल के साथ सांस्कृतिक सह शिक्षा दौरे के लिए पंजाब की यात्रा के साथ युवा संगम के चौथे चरण की शुरुआत की। एक भारत श्रेष्ठ भारत पहल के तहत युवा संगम अनुभावनात्मक शिक्षा को बढ़ावा देने और युवाओं को हमारे देश की समृद्ध विविधता से परिचित कराने का प्रयास किया जा रहा है। इसका उद्देश्य लोगों से लोगों के जुड़ाव पर ध्यान केंद्रित करते हुए मेजबान राज्य में जीवन के अनूठे पहलुओं, विकास स्थलों, वास्तुकला और इंजीनियरिंग चमत्कारों, औद्योगिक प्रगति और हाल की उपलब्धियों का एक व्यापक अनुभव प्रदान कर रहा है। इस मौके पर रांची विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो। अजीत कुमार सिन्हा ने कहा कि भारत सरकार की ओर से भारत के विभिन्न राज्यों/केंद ्रशासित प्रदेशों के युवाओं के बीच लोगों के बीच आपसी संबंध को मजबूत करने की एक पहल है। जिसकी विविधता में एकता का जश्न मनाने और भारत के लोगों के बीच आपसी संबंधों को मजबूत बनाना है।