RANCHI: झामुमो प्रमुख शिबू सोरेन राज्यसभा भेजे जा सकते हैं। अप्रैल माह में झारखंड से राज्यसभा की दो सीटें खाली हो रही है। झामुमो प्रमुख लोकसभा चुनाव हार चुके हैं। झामुमो की रणनीति इस स्तर पर है कि दोनों सीटों पर काबिज होने की कोशिश की जाए। फिलहाल पार्टी के रणनीतिकार इस बाबत मंथन में जुटे हुए हैं। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन सोमवार को नई दिल्ली में यूपीए के नेताओं से मुलाकात करेंगे। वे पार्लियामेंट एनेक्सी में होने वाली यूपीए के दलों की संयुक्त बैठक में भाग लेने के लिए रविवार को नई दिल्ली रवाना हुए।

16-17 जनवरी तक मंत्रिमंडल विस्तार

हेमंत सोरेन वहां मंत्रिमंडल विस्तार की भी कवायद करेंगे। संभावना जताई जा रही है कि 16-17 जनवरी तक उनके मंत्रिमंडल का विस्तार हो सकता है। मंत्रिमंडल में झामुमो से पांच और कांग्रेस से तीन विधायकों को शामिल किया जाना है। इससे पहले 29 दिसंबर को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के साथ कांग्रेस कोटे से विधायक दल के नेता आलमगीर आलम, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष रामेश्वर उरांव और राजद विधायक सत्यानंद भोक्ता ने मंत्री पद की शपथ ली थी। जल्द ही कांग्रेस भी अपने मंत्रियों की सूची फाइनल करेगी। झामुमो के भितरखाने भी मंत्रियों का नाम फाइनल करने की कवायद चरम पर है। जानकारी के मुताबिक इस रेस में चंपई सोरेन, मथुरा महतो, हाजी हुसैन अंसारी समेत अन्य विधायक शामिल हैं। झामुमो की नजर अहम विभागों पर है। कुछ युवा विधायकों को भी मंत्रिमंडल में स्थान मिल सकता है। इसपर अंतिम फैसला मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन करेंगे।

राज्यसभा जा सकते हैं शिबू सोरेन

दुमका सीट पर भी माथापच्ची

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने विधानसभा चुनाव में दो सीटों दुमका और बरहेट से भाग्य आजमाया था। उन्होंने दोनों सीटों पर जीत हासिल की। दुमका सीट उन्होंने छोड़ दी है। अब इस सीट पर उपचुनाव होगा। चर्चा है कि इस सीट पर हेमंत सोरेन अपनी धर्मपत्नी कल्पना सोरेन या अपने छोटे भाई बसंत सोरेन को उतार सकते हैं। झामुमो की शीर्ष केंद्रीय कमेटी इसपर अंतिम निर्णय करेगी।