आगरा. कुछ टाइम पहले तक रौनक को समेटे रहने वाला आसाराम का आश्रम अब सन्नाटे का शिकार हो गया है. एक तरफ जहां अधिकारी इस आश्रम को नापने की तैयारी कर रहे हैैं वहीं आगरा में छापेमारी के चलते इस आश्रम के कर्ताधर्ता अंडरग्राउंड हो गए हैैं.


तहसील का मिलेगा साथ फोरेस्ट के सिटी से लगे जंगल की बांईपुर रेंज के रेंजर देवेंद्र सिंह के अनुसार नेशनल हाइवे नं। टू से नजदीक स्थित आसाराम के आश्रम को लेकर फोरेस्ट डिपार्टमेंट कई दिनों से एक्टिव हो गया है। इससे पहले फोरेस्ट डिपार्टमेंट की ओर से जंगल और आश्रम की लम्बी चाहरदीवारी की ओर सफाई कर रास्ता भी बनवाने का काम भी किया गया। अब फोरेस्ट के साथ ही साथ आश्रम मामले में तहसील की टीम भी एक्टिव हो रही है। टेक्नोलॉजी की हेल्प फोरेस्ट रेंजर देवेंद्र सिंह के अनुसार आसाराम आश्रम की जमीन में फोरेस्ट डिपार्टमेंट की जमीन मिली होने का पूरा-पूरा डाउट है। इसी डाउट के मद्देनजर जंगल के अंदर ही अंदर काम किया जा रहा है। जंगल और आश्रम की जमीन की सिचुएशन को क्लियर करने के लिए लेटेस्ट टेक्नोलॉजी ग्लोबल पॉजिशनिंग सिस्टम (जीपीएस) का भी सहारा लिया जा रहा है।


दिख नहीं रहे कर्ताधर्ता

जैसे-जैसे आसाराम और नारायण सांई पर शिकंजा कसता जा रहा है। आगरा स्थित आशाराम आश्रम का भी सीन चेंज हो गया है। कभी संडे के दिन खास भीड़भाड़ रहने वाले इस आश्रम में अब आदमी देखने के लिए खासी मशक्कत करनी पड़ती है। संडे को आश्रम में सत्संग होता था। लेकिन, कानून के कसते शिकंजे को देखते हुए अब आश्रम मैनेजमेंट से जुड़े पदाधिकारी अंडरग्राउंड हो गए हैैं। यही वजह है संडे को भी इस आश्रम के ज्यादातर हिस्से में सन्नाटा ही पसरा दिखाई दिया.

Posted By: Inextlive