- वर्ष 2009 में फेसबुक का ऑफर ठुकराने वाली निशिता आज एफबी के लैंडिंग स्टॉफ की हैं मेंबर

- वर्ष ख्009 में फेसबुक का ऑफर ठुकराने वाली निशिता आज एफबी के लैंडिंग स्टॉफ की हैं मेंबर

BAREILLY: BAREILLY: अगर इरादे मजबूत हैं और परेशानियों से पार पाने का जज्बा है तो आसमां आपके कदमों में होगा। यह साबित कर दिखाया है बरेली की लाडली बेटी निशिता ने। जिन्होंने अपनी मेहनत और लगन से अपनों से हजारों किमी। दूर सात समंदर पर भी अपना लोहा मनवाया है। महज कुछ ही वर्षो में निशिता बरेली की ही नहीं बल्कि इंडिया की भी पहचान चुकी हैं। फेसबुक में कदम रखने के महज चंद सालों में वह फेसबुक की लैंडिंग स्टाफ की मेंबर बन चुकी हैं। आइए आपको बताते हैं बरेली की 'फेस' निशिता के बारे में।

कुछ यूं रहा सफर

रामपुर गार्डेन निवासी पिता राकेश बूबना और मां नीता अग्रवाल ने बताया कि निशिता ने वर्ष ख्00म् में सेंट मारिया स्कूल से इंटर एग्जाम में मंडल टॉपर बनीं। इसके बाद फ‌र्स्ट अटेम्पट में आईआईटी भी क्वॉलीफाई कर लिया। रूहेलखंड के हजारों अभ्यर्थियों को पछाड़ते हुए निशिता ने सर्वाधिक मा‌र्क्स गेन कर टॉप रैंक हासिल की। जिसकी बराबरी आज भी कोई नहीं कर सका है। बेटी का कॅरियर एचीवमेंट से भरा हुआ है। हैदराबाद में गूगल का रोबोट डेवलमेंट प्रोजेक्ट हो या फिर ग्रेस हूपर कांफ्रेंस फॉर वूमेन इन कम्प्यूटिंग सब जगत निशिता ने टैलेंट का लोहा मनवाया था।

यूं रखा फेसबुक में कदम

वर्ष ख्009 में फेसबुक के इंटर्न के ऑफर को निशिता ने ठुकरा दिया था। इसके बाद वह जापान की क्योटो यूनिवर्सिटी में रिसर्च करने के बाद इंग्लैंड में शेक्सपीयर पर रिसर्च की। अक्टूबर ख्0क्ख् में सॉफ्टवेयर इंजीनियर पोस्ट के लिए दुनिया से सौ और इंडिया से महज भ् कंडिडेट्स को सलेक्शन हुआ। जिसमें निशिता का ऊपर था। जून ख्0क्फ् में निशिता की काबिलियत को देखते हुए फेसबुक में प्लेटिनम स्पांसर एक्जीविटर का पद संभालने की जिम्मेदारी सौंपी गई। इसके बाद अभी दो वर्ष भी नहीं गुजरे हैं कि निशिता को लंदन में फेसबुक ब्रांच ओपन करने वाली लैंडिंग कमेटी में मेंबर और सीनियर इंजीनियर के पोस्ट पर प्रमोशन मिला है।

Posted By: Inextlive