ये बात तो सच है कि अगर इंसान दिल से कुछ भी चाह ले तो वह पूरा जरूर करता है। इस बात को प्रूफ किया है अब तक 3 रिकार्ड बनाने वाले दीपांशु ने। दीपांशू वर्ल्ड रिकॉर्ड के साथ लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड में भी अपना नाम दर्ज करा चुके हैं। सबसे खास बात तो यह है कि दीपांशू ने एक थप्‍पड़ पड़ने के बाद अपने जीवन की दिशा तय की है।


वर्ल्ड चैंपियनभारत की इनलाइन हॉकी की टीम में खेलने वाले 21 वर्षीय दीपांशु आज किसी परिचय के मोहताज नहीं है। वह हिसार के पहले खिलाड़ी भी है। उन्होंने हाल ही में वर्ल्ड चैंपियनशिप खेली। आर्मी से रिटायर्ड सूबेदार आरके पूनियां आर्मी और गृहिणी निर्मला देवी का ये दूसरे नंबर का बेटा दीपांशू आज वर्ल्ड चैंपियन के रूप में जाना जा रहा है। हॉकी में शानदार प्रदर्शन करने वाले दीपांशू का नाम स्केटिंग की दुनिया में भी शीर्ष पर है। इनका नाम रिकॉर्ड इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड और लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड में दर्ज हो चुका है। शानदार प्रदर्शन
कैंट के केवीएस स्कूल से स्केटिंग की शुरुआत करने वाले दीपांशु ने 2008 में शानदार प्रदर्शन किया। इस दौरान वह सबसे पहले स्कूल में स्केटिंग में चैंपियन बने। इसके बाद उन्होंने 2009 में चंडीगढ़ में स्टेट टूर्नामेंट में अपना पहला गोल्ड जीता है। इसके बाद 2010 से लेकर 2014 तक इनलाइन स्पीड स्केटिंग में टॉप पर रहे। दीपांशु ने स्टेट लेवल पर एक गोल्ड, 5 सिल्वर, और एक ब्रांज मेडल अब तक अपने नाम किए है। इसके अलावा दुनिया में  सबसे ज्यादा देर तक स्केटिंग करने का वर्ल्ड रिकॉर्ड अपने नाम कर चुके हैं। बात दिल को छू गई


वहीं शानदार तरीके से स्केटिंग कर सबको हैरत में डालने वाले दीपांशू का कहना है कि जब वह काफी छोटे थे। तभी बास्केटबाल में ट्रायल नहीं होने के बाद वह एक सीनियर खिलाड़ी के स्केट्स को उठाकर देखने लगे। इस दौरान उस खिलाड़ी ने उन्हें थप्पड़ जड़ते हुए बोला कि यह सब तेरे बस में नहीं है। यह बात उसके दिल में छू गई है। इसके बाद से दीपांशू ने डिसाइड किया है कि वह अब स्केटिंग की दुनिया में ही अब परचम लहराएंगे। इसके बाद वह अपने मिशन को पूरा करने में मेहनत और लगन के साथ जुट गए।

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Posted By: Shweta Mishra