8 एमएम रांची में हुई बारिश

10 एमएम कांके में हुई बारिश

27 डिग्री सेल्सियम न्यूनतम तापमान

19 डिग्री सेल्सियस अधिकतम तापमान

>RANCHI: पश्चिमी विक्षोभ का असर दूसरे दिन रांची में दिखा। दोपहर में बादल घिर आए और झमाझम बारिश होने लगी। रांची में 8 मिमी और कांके में क्0 मिमी बारिश हुई। मौसम पूर्वानुमान के अनुसार, शनिवार के फ‌र्स्ट हाफ तक बादल छाए रहेंगे और हल्की बारिश होने की भी संभावना है। हालांकि रविवार को बादल साफ रहेगा। जबकि पश्चिमी विक्षोभ के कारण एक बार फिर मौसम बिगड़ सकता है।

झमाझम बारिश और हो गया जलजमाव

मौसम विभाग के डा। ए। वदूद इसे मौसमी बदलाव में पश्चिमी बदलाव और लोकल लेबल पर बढ़ते तापमान का असर बता रहे हैं, जहां स्थानीय स्तर पर बादल बन रहे हैं और दबाव की वजह से बारिश हो रही है। बारिश के साथ ही न्यूनतम तापमान में भी गिरावट दर्ज की गई। शुक्रवार को अधिकतम तापमान ख्7 डिग्री और न्यूनतम तापमान क्9 डिग्री सेल्सियस रहा। बारिश के साथ बिजली भी जमकर कड़कती रही। वहीं बारिश होते ही जगह-जगह पर जलजमाव भी हो गया। सड़क किनारे पानी भर गया और गड्ढों में पानी भर जाने के कारण लोगों को आने-जाने में खूब परेशानी हुई।

ओले पड़े, फसल को नुकसान

बारिश के साथ झारखंड के कई क्षेत्रों में ओले भी पड़े जिससे ब्0 प्रतिशत फसलों को नुकसान हुआ। इनमें मांडर और आसपास के क्षेत्र भी शामिल हैं, जहां ओले पड़े और फसलों को भारी नुकसान भी हुआ।

वायरल फीवर और सर्दी-खांसी बढ़ाएगी परेशानी

.अलर्ट का लोगो लगाएं।

अचानक गर्मी और फिर बारिश के साथ ही मौसम में भी भारी बदलाव देखने को मिल रहा है। इससे मौसमी बीमारियों का भी खतरा बढ़ने लगा है। पिछले कुछ दिनों से जहां स्वाइन फ्लू के फैलने का डर बना हुआ है। वहीं, मौसम भी उसके लिए अनुकूल बनता जा रहा है। इस वजह से कई तरह की बीमारियां के होने की आशंका बन जाती है। डॉक्टर के अनुसार इस मौसम में दिन और रात के टेम्प्रेचर में होने वाले बदलाव की वजह से भी सिहरन, बदन दर्द और बुखार होने की आशंका है।

क्या कहते हैं डॉक्टर

बारिश के बाद टेम्प्रेचर अचानक डाउन हो जाता है, जिसकी वजह से ठंड महसूस होने लगता है। कई बार बॉडी इस उत्थल-पुथल को बर्दाश्त नही कर पाती है और लोग बीमार पड़ जाते हैं। ऐसे मौसम में सर्दी-खांसी के साथ वायरल फीवर की भी आशंका बढ़ जाती है। वहीं, स्वाइन फ्लू के वायरस के लिए भी ये मददगार होता है, इसलिए परहेज रखना और अलर्ट रहना जरूरी है।

-डॉ। अशोक कुमार, मेडिकल ऑफिसर, सदर अस्पताल

Posted By: Inextlive