सिटी के सभी थानों में बनेगा महिला हेल्प डेस्क. फरवरी तक सभी पुलिस स्टेशन में शुरू हो जाएगी सेवा. थानों में महिला पुलिसकर्मियों दिया जाएगा टैब.

रांची(ब्यूरो)। सिटी के पुलिस स्टेशन में जल्द ही महिलाओं के लिए स्पेशल व्यवस्था की जाएगी। थानों से आ रही शिकायतों को दूर करने के लिए पुलिस विभाग की ओर से सभी पुलिस स्टेशनों को अपग्रेड करने का निर्णय लिया गया है। विशेष कर महिलाओं की असुविधाओं को दूर करने के उद्देश्य यह निर्णय लिया गया है। सिटी के सभी थानों में महिलाओं के लिए हेल्प डेस्क बनवाया जाएगा। अगले एक महीने में थानों में महिला डेस्क बनाने का आदेश पुलिस मुख्यालय की ओर से जारी किया गया है। राजधानी रांची में लड़कियों और महिलाओं के साथ लगातार हो रहे अत्याचार, उत्पीडऩ और रेप जैसी घटना को देखते हुए विभाग ने यह निर्णय लिया है। महिला हेल्प डेस्क में विशेष रुप से महिलाओं से जुड़ी समस्याओं का निराकरण किया जाएगा। थाने में फरियाद लेकर आने वाली कोई महिला हो या फिर पुलिस स्टेशन में काम करने वाली कोई महिला कर्मचारी हर किसी के लिए डेस्क पर हेल्प के इंतजाम किए जाएंगे। डीजे-आई नेक्स्ट ने पहले भी पुलिस स्टेशनों में महिलाओं की स्थिति से वाकिफ कराया था। राजधानी के पुलिस स्टेशन में महिलाओं के साथ कैसा बर्ताव किया जाता है, यह किसी से छिपा नहीं है। कई बार महिलाएं सिर्फ बेइज्जती के डर से अपनी समस्या लेकर थाने नहीं जातीं। लेकिन अब महिला हेल्प डेस्क बन जाने से उन महिलाओं की भी समस्या दूर होगी।
महिलाओं के लिए दिया जाएगा टैब
पुलिस स्टेशन में महिला हेल्प डेस्क को सुचारु ढंग से चलाने के लिए यहां टैब और लैपटॉप दिया जाएगा। ताकि महिलाओं की समस्या सिर्फ रजिस्ट्रर और फाइल में ही दब कर न रह जाए। सभी शिकायतें टैब में फीड की जाएंगी। इसकी ऑनलाइन मॉनिटरिंग एसएसपी खुद करेंगे। एडीजी सीआईडी प्रशांत सिंह ने टैब और लैपटॉप की खरीद के लिए एक टेक्निकल टीम का गठन किया है। इसके अध्यक्ष सीआईडी एसपी कार्तिक एस को बनाया गया है। जबकि टीम में तीन और सदस्य डीएसपी सीआईडी महेंद्र सिंह मुंडा, एनआईसी से अशोक कुमार और डेटा सेंटर से प्रेम कुमार को शामिल किया गया है।
शुरुआत राजधानी से
राज्य में महिलाओं, लड़कियों और बच्चियों की हर हाल में सुरक्षा सुनिश्चित करने का आदेश राज्य के मुखिया ने पहले ही दे रखा है। राज्य भर 300 थानों में महिला हेल्पडेस्क बनाए जाने हंै, जिसकी पहल राजधानी रांची से हो रही है। इसे बनाने के लिए निर्भया फंड का इस्तेमाल किया जाएगा। एक हेल्प डेस्क बनाने पर करीब एक लाख रुपए खर्च करने की योजना है। करीब तीन करोड़ की लागत पूरे राज्य में महिला हेल्प डेस्क बनाया जाएगा। सभी तकनीकी प्रक्रिया पूरी होने के बाद महिला हेल्प लाइन भी शुरू कर दिया जाएगा।
किसी भी तरह की शिकायत होगी दर्ज
महिला हेल्प डेस्क में पीडि़त महिलाएं-बच्चियां, युवतियां किसी भी तरह की समस्या व शिकायत दर्ज करा सकेंगी। इसकी मदद से राज्य में महिला हिंसा और उससे जुड़े आपराधिक मामलों का निपटान जल्द हो सकेगा। बता दें की वर्तमान में सिटी के अधिकतर थानों की स्थिति काफी खराब है। महिलाओं के लिए अलग से कोई व्यवस्था नहीं है। यहां तक की महिलाओं के लिए अलग टॉयलेट भी नहीं है। गोंदा थाना जो मुख्यमंत्री आवास के सामने है, उसकी भी स्थिति ठीक नहीं है। यहां के महिला कर्मियों का कहना है कि बाथरूम की कुंडी तक टूटी हुई है। इसके अलावा एक मात्र महिला थाना जहां सिर्फ रांची ही नहीं बल्कि दूसरे स्थानों से भी महिलाएं अपनी समस्या लेकर आती हैं, यहां महिलाओं के बैठने की भी जगह नहीं है। पीडि़त और उनके परिजन बाहर ही जमीन पर बैठे रहते हैं।

क्या कहती हंै पीडि़ता
पुलिस स्टेशन में महिलाओं के लिए स्पेशल व्यवस्था तो होनी ही चाहिए। यहां आने से पहले ही डर लगता है। पुलिसकर्मियों से कोई सहयोग नहीं मिलता।
शांति

थाना में बहुत शर्म लगता है। कई सवाल किए जाते हैैं। ऊपर से महिला पुलिस के न होने से और परेशानी होती है। महिलाओं के लिए अलग से व्यवस्था हो।
अंजलि

थाने में हम महिलाओं के लिए अलग से चेंबर या टेबल होना चाहिए। जहां हम लोग खुलकर अपनी समस्या रख सकें। इसके अलावा हमलोगों से ठीक से व्यवहार भी नहीं किया जाता है। इसे भी सुधारने की जरुरत है।
- ललिता

Posted By: Inextlive