उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन शुक्रवार को होने वाली कोरियाई शिखर बैठक के लिए पैदल चलकर सीमा पार करेंगे। वह दोनों कोरिया को अलग करने वाली सैन्य सीमा रेखा एमडीएल पर दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति मून जे-इन के साथ सुबह 9.30 बजे मुलाकात करेंगे। करीब एक दशक में दोनों देशों के नेताओं की यह पहली मुलाकात होगी। कोरियाई प्रायद्वीप में शांति के लिए इस शिखर बैठक पर दुनिया भर की निगाह है। इस बैठक से ही किम और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की शिखर बैठक का रास्ता साफ होगा।


दक्षिण कोरिया जाने वाले होंगे पहले नेतासियोल (आइएएनएस/एएफपी)। सीमा पार करते ही किम 1950-53 के कोरियाई युद्ध के बाद से दक्षिण कोरिया में पांव रखने वाले पहले उत्तर कोरियाई नेता बन जाएंगे। दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति सचिवालय के प्रमुख इम जोंग-सियोक ने बताया कि मून असैन्य क्षेत्र में युद्ध विराम वाले गांव पैनमुनजोम में किम का स्वागत करेंगे। किम को गार्ड ऑफ ऑनर दिया जाएगा। इसके बाद दोनों नेता पैनमुंजोम स्थित पीस हाउस जाएंगे जहां बातचीत होगी। बैठक का सुबह का सत्र शुरू होने से पहले किम अतिथि पुस्तिका पर हस्ताक्षर करेंगे। पहले दौर की बैठक सुबह 10.30 बजे शुरू होगी। इम ने कहा कि दोनों प्रतिनिधिमंडलों के लिए अगल-अलग लंच का आयोजन होगा। उत्तर का प्रतिनिधिमंडल सीमा पार कर अपनी तरफ लंच लेगा। लगाएंगे खुशहाली के प्रतीक देवदार का पौधा
मून और किम एमडीएल पर शांति और खुशहाली का प्रतीक देवदार का पौधा लगाएंगे। इसके लिए चीन से लगी उत्तर कोरिया की सीमा पर माउंट पेकटू और दक्षिण कोरिया के दक्षिणी द्वीप जेजू से मिट्टी लाई गई है। पौधे में उत्तर की तायडोंग नदी और दक्षिण की हान नदी का पानी डाला जाएगा। इसके बाद दोनों नेता अगले दौर की बातचीत करेंगे। दोनों नेताओं की बातचीत और समझौते पर हस्ताक्षर होने के बाद संयुक्त बयान जारी किया जाएगा। इसे 'पैनमुनजोम घोषणा' कहा जा सकता है। इम ने कहा कि किम के लौटने से पहले शाम को बैंक्वेट और विदाई समारोह का आयोजन किया जाएगा।परमाणु निरस्त्रीकरण, स्थाई शांति पर ध्यानउत्तर कोरिया के नौ सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल में किम की बहन किम यो-जोंग, मानद राष्ट्रपति किम योंग-नैम, विदेश मंत्री और रक्षा मंत्री शामिल होंगे। किम की बहन और राष्ट्रपति यो-जोंग दक्षिण कोरिया में शरदकालीन ओलंपिक में शामिल हुए थे। पूर्व के विपरीत प्रतिनिधिमंडल में शीर्ष सैन्य अधिकारी और राजनयिक भी रहेंगे। दक्षिण कोरिया के अधिकारी इम ने कहा कि शिखर बैठक में अन्य मुद्दों से ज्यादा परमाणु निरस्त्रीकरण और स्थायी शांति पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस बार परमाणु निरस्त्रीकरण के समझौते पर पहुंचना पहले के दो समझौतों से काफी भिन्न होगा। यही शिखर बैठक को ज्यादा मुश्किल बनाता है। अब देखना है कि दोनों नेता किस तरह स्वेच्छा से परमाणु निरस्त्रीकरण समझौते पर पहुंचते हैं।

Posted By: Satyendra Kumar Singh