वोटर नहीं बनना चाहते शहर के लोग
- वोटर लिस्ट में जुड़ने के नाम पर शहर के लोग हैं पीछे
BAREILLY: यह माना जाता है कि रूरल एरिया की अपेक्षा शहर के लोग ज्यादा अवेयर होते हैं और अपनी जिम्मेदारी ठीक ढंग से निभाते हैं, लेकिन बरेली में ऐसा नहीं है। शहर के लोग रूरल एरिया के लोगों की अपेक्षा अवेयर नहीं हैं। तभी तो रूरल एरिया के मुताबिक शहर में वोटर्स की संख्या कम है। या तो लोग अपने अधिकार के प्रति अवेयर नहीं हैं या फिर यूथ का वोटर बनने में उत्साह नहीं रहा है। शहर क्षेत्र में वोटर कमनगर निकाय चुनाव के ही नहीं बल्कि, विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र में भी शहर के वोटर ग्रामीण क्षेत्र से कम हैं। नगर निकाय निर्वाचन की बात करें, तो सदर तहसील के नगर निगम निकाय में वोटर का परसेंटेज 73.85 है। जबकि मीरगंज तहसील के अंतर्गत आने वाले नगर पंचायत मीरगंज में वोटर का परसेंटेज 90.68 और नगर पंचायत फतेहगंज पश्चिमी में 77.51 परसेंट वोटर हैं। जबकि नगर पालिका परिषद नवाबगंज में 85.69, नगर पंचायत शेरगढ़ में 82.22 और नगर पंचायत फतेहगंज पूर्वी में वोटर का परसेंटेज 89.73 है।
अवेयरनेस की कमी है वजहग्रामीण क्षेत्र के मुकाबले शहर में वोटर्स की संख्या कम होने के पीछे अवेयर के अलावा यूथ में उत्साह की कमी भी हो सकती है। यूथ वोटर बनने में ज्यादा दिलचस्पी नहीं ले रहे हैं। तभी तो शहर में वोटर्स की संख्या में इजाफा नहीं हो रहा है। हालांकि इसके पीछे चुनाव कर्मचारियों की लापरवाही भी एक बहुत कारण माना जा रहा है। नगर निकाय चुनाव को लेकर अभी चल रहे वोटर लिस्ट के पुनरीक्षण में कर्मचारियों की लापरवाही सामने आयी हैं। जिसको लेकर नगर क्षेत्र से जुड़े बीएलओ, सेक्टर ऑफिसर और पर्यवेक्षक के खिलाफ कार्रवाई भी हुई हैं।