- पिछले साल कई कॉलेजों में 20 परसेंट ही हो पाए हैं एडमिशन

- नए सेशन से टीचर्स का अनुमोदन कराना कॉलेजों के लिए पड़ रहा महंगा

- 800 से अधिक सेल्फ फाइनेंस के डिग्री कॉलेज हैं

- 04 एक्सपर्ट बाहर के होते हैं इंटव्यू पैनल में

KANPUR: सीएसजेएम यूनिवर्सिटी ने टीचर्स के सेलेक्शन के लिए जो पैनल बनाया है उसमें कानपुर के बाहर के भी एक्सपर्ट टीचर हैं। यह टीचर दिल्ली, बरेली, मुरादाबाद और अलीगढ़ समेत अन्य शहरों से आते हैं.उनका टीए-डीए यूनिवर्सिटी को भारी पड़ने लगा है। इसके अलावा कोरोना काल में उनमें से कई एक्सप‌र्ट्स ऐसे भी हैं जो आने में भी नानुकुर कर रहे हैं। इस साल सौ से अधिक नए कॉलेजों के लिए टीचर्स का अप्रूवल होना है।

सेलेक्शन प्रॉसेस जटिल

टीचर्स का सेलेक्शन प्रॉसेस इतना जटिल है कि इसका असर टीचर्स के अप्रूवल पर भी पड़ रहा है। लोकल एक्सप‌र्ट्स को रखे जाने के लिए हाल ही में कॉलेज प्रबंधन का प्रतिनिधिमंडल वाइस चांसलर प्रो। डीआर सिंह से मिला। यूनिवर्सिटी से एफिलिएटेड आठ सौ से अधिक सेल्फ फाइनेंस के डिग्री कॉलेज हैं। इन कॉलेजों में नया सेशन शुरू होने वाला है। इनमें से कई नए कॉलेज ऐसे हैं जिन्होंने वर्ष 2021 के लिए कॉलेजों ने मान्यता के लिए आवेदन किया है।

चयन की फेहरिस्त लंबी

इसके अलावा पुराने कॉलेजों में भी कई शिक्षक छोड़कर चले जाते हैं। ऐसे में डिग्री कॉलेजों में नए शिक्षकों के चयन की फेहरिस्त बड़ी लंबी हो गई है। उत्तर प्रदेश स्ववित्तपोषित महाविद्यालय एसोसिएशन के अध्यक्ष विनय त्रिवेदी ने बताया कि इंटरव्यू पैनल के लिए लोकल सब्जेक्ट एक्सपर्ट रखे जाने चाहिए। यूनिवर्सिटी से संबद्ध शहर में ही 25 से अधिक सहायता प्राप्त डिग्री कॉलेज हैं। इनके टीचर्स को एक्सपर्ट के रूप में लिया जाए जिससे वह आसानी से आ सकें और टीए-डीए भी अधिक न खर्च हो। कोरोनाकाल में पिछले वर्ष कई कॉलेजों में 20 परसेंट से भी कम एडमिशन हुए हैं। ऐसे में बाहर से आने वाले एक्सप‌र्ट्स का खर्च कॉलेज नहीं दे पा रहे हैं। यूनिवर्सिटी प्रशासन ने आश्वासन दिया है कि पैनल स्थानीय बनाए जाने के लिए एक्सप‌र्ट्स की लिस्ट बनाएंगे।

चार फेज में होता है सेलेक्शन प्रॉसेस

डिग्री कॉलेजों में टीचर्स का सेलेक्शन चार फेज में होता है। पहले पैनल इंटरव्यू लेता है। इस पैनल में चार एक्सपर्ट बाहर के होते हैं। इसके अलावा तीन सदस्य और होते हैं जिसमें एक कॉलेज प्रबंधक, प्रबंधक नॉमिनी व प्राचार्य नॉमिनी होता है। यह समिति शिक्षकों का इंटरव्यू लेकर सेलेक्शन की रिकमंडेशन करती है। इसके बाद कॉलेज की मैनेजमेंट कमेटी उसे मान्यता देती है।

कहां-कहां से आते हैं टीचर?

- दिल्ली

- बरेली

- मुरादाबाद

- अलीगढ़

- अन्य शहर

Posted By: Inextlive