दिन में डोर-टू-डोर संपर्क, रात में ट्विटर फेसबुक
वाराणसी (ब्यूरो)। वाराणसी में प्रत्याशियों की घोषणा व नामांकन शुरू होने के चलते चुनावी माहौल गर्म हो गया है। निर्वाचन आयोग की ओर से रैली, नुक्कड़ सभा, बाइक रैली व जुलूस पर प्रतिबंध के चलते प्रत्याशियों ने संपर्क व सोशल मीडिया का सहारा ले लिया है। प्रत्याशी दिन में घर-घर जाकर मतदाताओं से संपर्क कर रहे हैं। वहीं, रात में ट्विटर और फेसबुक के जरिए संवाद कर अपनी बात जनता तक पहुंचा रहे हैं।
कोरोना महामारी की वजह से चुनाव आयोग ने चुनावी रैलियों और नुक्कड़ सभाओं के आयोजन पर रोक लगा रखी है। चुनाव आयोग की गाइडलाइन का पालन करते हुए सभी दलों के प्रत्याशी चुनाव प्रचार में जुटे हैं। रैली पर प्रतिबंध के कारण प्रत्याशी आमजन तक आसानी से नहीं पहुंच पा रहे हैं और घर-घर जनसंपर्क करने में जुटे हैं। इसके लिए कार्यकर्ताओं की टोलियां सुबह ही निकल पड़ती हैं। गांव और सेक्टर में पहुंचकर हर घर में कार्यकर्ता दस्तक देकर अपने प्रत्याशियों के पक्ष में प्रचार कर रहे हैं। सभी प्रत्याशी सुबह से शाम तक इसी तरह लोगों से मिल रहे हैं.
सोशल मीडिया का सहारारात में प्रत्याशी मतदाताओं से डिजिटल संवाद करते हैं। प्रत्याशियों की डिजिटल टीम इसकी तैयारी पहले से ही कर लेती हैं। ट्विटर , फेसबुक, जूम एप के जरिए लोगों से जुड़ते हैं.
अपनी प्राथमिकताएं गिनाते हैं प्रत्याशी शहर में भी डिजिटल तकनीक के जरिए लोगों से प्रत्याशी मिल रहे हैं। भाजपा, सपा, कांग्रेस व बसपा, आप, मौलिक अधिकार पार्टी के प्रत्याशियों ने फेसबुक के जरिए अपने नामांकन की जानकारी शेयर की है। साथ ही लोगों से संवाद भी करना शुरू कर दिया है। उन तक अपनी बात पहुंचाते हैं। फेसबुक पर जनता उनसे सवाल-जवाब करती है। प्रत्याशियों का कहना है कि कोविड गाइडलाइन के चलते जनता से सीधे नहीं जुड़ पा रहे हैं। इसलिए सोशल मीडिया के जरिए सवाल-जवाब कर दौर चल रहा है। लोग भी बताते हैं अपनी समस्याएं प्रमुख पार्टियों के घोषित प्रत्याशियों के मुताबिक, उन्होंने ट्विटर स्पेस के जरिए अपने विधानसभा क्षेत्र के लोगों के साथ संवाद किया। लोगों को अपनी बात बताई। लोगों ने भी अपनी मांगों को उनके समक्ष रखा। उन्होंने कहा कि विधायक बनने के बाद उनकी मांगों को पूरा किया जाएगा। इस पर लोगों ने उनसे वादों का शपथ पत्र मांगा। प्रत्याशी ने भी शपथ पत्र दे दिया.