ईएमवी चिप डेबिट कार्ड देने वाला पहला बैंक बना एसबीआई

इलेक्ट्रॉनिक धोखाधड़ी की शिकायतों को देखते हुए रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने सभी बैंकों को अतिरिक्त सुरक्षा के लिए गाइडलाइंस जारी की थी। इसी कवायद के तहत एसबीआई ने इलेक्ट्रॉनिक कार्ड पेमेंट को सिक्योर करने की पहल की। बैंक की कॉरपोरेट स्ट्रैटिजी एंड न्यू बिजनेस उप प्रबंध निदेशक मंजू अग्रवाल ने कहा कि ईएमवी कार्ड जारी करने वाला एसबीआई पहला बैंक है। बैंक अपने ग्राहकों को सुरक्षित लेन-देन के लिए प्रतिबद्ध है। अबसे नए ग्राहकों को ईएमवी चिप वाले कार्ड ही दिए जाएंगे। पुराने कस्टमर्स मामूली फी देकर अपने मौजूदा डेबिट कार्ड को अपग्रेड करा सकेंगे। अगस्त 2015 में जारी एक आंकड़े के अनुसार एसबीआई का डेबिट कार्ड मार्केट शेयर 38.41 प्रतिशत है। देश के सबसे बड़े बैंक के इस कदम से जाहिर है कि कार्ड से लेनदेन अब काफी सुरक्षित हो जाएगा।

क्या है ईएमवी चिप

ईएमवी चिप देखने में मोबाइल सिम जैसा है। यह आपके डेबिट कार्ड पर लगा दिया जाता है। कार्ड खोने पर कोई इसे स्वैप करके खरीदारी नहीं कर सकेगा। इसके लिए उसे कार्ड के पिन की भी जरूरत होगी, जो कस्टमर के पास होती है। जिस कार्ड में ईएमवी चिप नहीं होती उसे स्वैप कराने के बाद पिन की जरूरत नहीं पड़ती, जिससे कार्ड खोने पर यदि तुरंत ब्लॉक नहीं कराया गया तो कोई भी उससे खरीदारी कर सकता है। ध्यान रहे कि ईएमवी चिप वाले कार्ड पर पिन ना लिखें नहीं तो खोने पर उसका आसानी से दुरुपयोग हो सकता है।

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