- व्यवस्था और छूटे वादों पर बढ़ रहा आक्रोश

आगरा। जिले में 11 फरवरी को वोट डाले जाएंगे। नौ विधानसभा की सीटों पर विभिन्न राजनैतिक दलों के 121 नुमाइंदे चुनावी दंगल में ताल ठोंक रहे हैं। प्रत्याशियों का चुनावी प्रचार तेज हो गया। इसके साथ ही चुनावी बहिष्कार का प्रचलन बढ़ता जा रहा है। कहीं बुनियादी सुविधाओं की दरकार है, तो कहीं जनप्रतिनिधियों के झूठे वादों से उपजा आक्रोश है।

बहिष्कार के पीछे झूठे वादों की पोटली

विधानसभा चुनाव 2017 में वोटिंग बहिष्कार के पीछे जनप्रतिनिधियों द्वारा किए गए वादों की पोटली ही है। पिछले विधानसभा चुनाव में किए गए वादें अभी तक पूरे नहीं हो पाए हैं। लोगों का गुस्सा यूं ही नहीं प्रदर्शित हो रहा इसके पीछे मुख्य वजह ये है कि लोगों के लिए बुनियादी सुविधाएं भी नहीं हैं।

बरौली अहीर में हुई पंचायत

रविवार को बरौली अहीर के गांव लकावली में लोगों ने गांव में पंचायत कर चुनाव का बहिष्कार कर दिया। इस दौरान ग्रामीणों का कहना था कि वे पिछले 15 वर्षो से ठगे जा रहे हैं। इस बार के चुनाव में वे वोट नहीं करेंगे।