- परमिशन की लास्ट डेट खत्म फिर भी फेंकने दे रहे बायो मेडिकल वेस्ट

- कार्रवाई करने की बजाय खामोश बैठा हुआ है बोर्ड

BAREILLY:

बायो मेडिकल वेस्ट के प्रॉपर निस्तारण पर नजर रखने की जिम्मेदारी पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड की है। बावजूद इसके खुले में मेडिकल वेस्ट फेंके जाने को बोर्ड के अधिकारी नजरअंदाज करते रहे। आई नेक्स्ट ने संक्रमण फैला रहे 'भगवान' अभियान में मेडिकल वेस्ट की असलियत खोली तो अफसर हरकत में आए, लेकिन सांठ-गांठ पर पर्दा डालने से बाज नहीं आ रहे हैं। अब हॉस्पिटल्स की सूची देने में पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी आरके त्यागी आनाकानी करने लगे। क्योंकि उनकी कर्तव्यनिष्ठा पर सवाल खड़ा हो रहा है कि जब शहर में 577 हॉस्पिटल, क्लीनिक चल रहे हैं तो फिर उनके यहां सिर्फ 266 ही क्यों रजिस्टर्ड हैं। बाकी के खिलाफ वह कोई कार्रवाई क्यों नहीं कर सके ।

77 के रिन्यूवल खत्म फिर भी

मेडिकल वेस्ट खुले में फेंक रहे हॉस्पिटल्स से बोर्ड के अधिकारियों का सांठ-गांठ इस बात से भी जाहिर होती है कि उसके यहां जो हॉस्टिल्स रजिस्टर हैं, वह उन पर भी निगाह नहीं रख पा रहा है। पीसीबी से एनओसी लेकर 77 हॉस्पिटल बिना कंसेंट चल रहे थे। इन हॉस्पिटल्स को कंसेट लगाने के लिए अधिकारी बाध्य नहीं कर सके।

305 बिना एनओसी के ही

पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड के रिकॉर्ड के मुताबिक जिले में मात्र 266 हॉस्पिटल ही संचालित हो रहे है। जबकि, हकीकत इससे दूर है। सिर्फ शहर में ही 577 निजी हॉस्पिटल, नर्सिग होम और क्लिनिक सीएमओ ऑफिस में रजिस्टर्ड है। ऐसे में बाकी संस्थानों को ऑथराइज्ड करने की बजाय बोर्ड खामोशी साधे हुए है। बाकी लोगों को वेस्ट कलेक्शन स्टोरेज एंड डिस्पोजल का प्राधिकार देने की बजाय अधिकारी इस आस में बैठे रहते है कि उनके पास कोई आएगा तो उन्हें एनओसी देंगे।

ऑथराइज्ड हॉस्पिटल के नाम हम उजागर नहीं कर सकते हैं। बायो मेडिकल वेस्ट प्लांट से एग्रीमेंट लेने वाले लोगों को ही हम कंसेंट देते हैं। इसके अलावा और किसी को नहीं।

आरके त्यागी, रीजनल ऑफिसर, पीसीबी