कुछ स्टूडेंट्स ने एक स्टूडेंट लीडर पर रुपए लेकर फर्जी एडमिशन कराने का लगाया आरोप

प्रिंसिपल ऑफिस का किया घेराव, चीफ प्रॉक्टर और वाइस प्रिंसिपल को सौंपा ज्ञापन

BAREILLY: बरेली कॉलेज में एक बार फिर फर्जी एडमिशन का जिन्न बाहर निकल आया है। कुछ स्टूडेंट्स ने एक स्टूडेंट लीडर पर रुपए लेकर फर्जी एडमिशन कराने का आरोप लगाया है। एडमिशन लास्ट ईयर के सेशन में हुआ था। अब जब आरयू ने उनका रिजल्ट रोक दिया है, तब जाकर स्टूडेंट्स को मालूम चला। अब वे स्टूडेंट्स उस स्टूडेंट लीडर के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए अपना रुपया वापस दिलाने की मांग कर रहे हैं। इसको लेकर उन्होंने प्रिंसिपल ऑफिस का भी घेराव किया। उनकी गैरमौजूदगी में चीफ प्रॉक्टर और वाइस पि्रंसिपल को ज्ञापन सौंपा है।

बीए व बीएससी में एडमिशन

अभी 7 स्टूडेंट्स का मामला सामने आया है। ये सभी बीए व बीएससी फ‌र्स्ट ईयर के स्टूडेंट हैं। इस वर्ष मेन एग्जाम से पहले काफी संख्या में स्टूडेंट्स के फॉर्म भरवाकर एग्जाम में बिठा दिया गया। इनमें स्टूडेंट्स यशपाल, प्रीति, रंजीत, राजीव समेत 7 शामिल हैं। इन्होंने बीसीबी के स्टूडेंट लीडर विपिन सिंह थापा पर एडमिशन दिलाने के ऐवज में हर स्टूडेंट से करीब 8 से क्0,000 रुपए लेने का आरोप लगाया है। उन्होंने बताया कि उनके फॉर्म ले लिए गए और बाद में आई कार्ड भी दे दिया गया। बाद में उन्हें बरेली कॉलेज में ही एग्जाम दिला दिया गया। अब बताया जा रहा है कि इनको दिए गए आई कार्ड भी फर्जी हैं। एबीवीपी के सुमित गुर्जर, अभय चौहान, अजीत, रवि समेत कई मेंबर्स के साथ इन स्टूडेंट्स ने कंप्लेन की है। प्रिंसिपल की गैर मौजूदगी में चीफ प्रॉक्टर डॉ। अजय शर्मा और वाइस प्रिंसिपल डॉ। आरबी सिंह को कंप्लेन लेटर के साथ साक्ष्य प्रस्तुत किए। टीचर्स ने उन्हें कार्रवाई का भरोसा दिलाया है। स्टूडेंट्स ने बताया कि आरयू ने उनका रिजल्ट रोक दिया है। उनके एडमिशन के डॉक्यूमेंट्स आरयू के पास नहीं है। वहां से उनको यह जवाब मिला कि कॉलेज की तरफ से किसी भी प्रकार के डॉक्यूमेंट्स नहीं मिले हैं।

हो सकती है मिलीभगत

इन स्टूडेंट्स के फर्जी एडमिशन में कॉलेज की मिलीभगत से इंकार नहीं किया जा सकता। जब एडमिशन ही नहीं हुआ तो उनको एग्जाम में कैसे बिठा लिया गया। इस बार मेन एग्जाम से पहले बड़े पैमाने पर धांधली हुई थी। एग्जाम के दिन तक स्टूडेंट्स को बैकडोर से एडमिशन दिलाकर एग्जाम में बिठा गया था। कॉलेज ने प्रोविजनल एडमिट कार्ड जारी कर दिए थे। अब जब इन स्टूडेंट्स के डॉक्यूमेंट्स का कुछ अता-पता नहीं है तो आरयू ने इन जैसे कइयों के रिजल्ट रोक दिए हैं।