- पहले बनी सिविल इंजीनियर मौत, जांच पर भी भाई ने जताया संदेह

- नहीं समझ में आ रही है पुलिस और फोरेंसिक टीम की थ्योरी

GORAKHPUR: फर्टिलाइजर सिविल इंजीनियर 22 वर्षीय सूरज कुमार साव की मौत हर किसी के लिए पहले बनी हुई है। फैमिली मेंबर्स मौत की सूचना पाकर स्तब्ध हैं। मृतक चार भाई-बहन में सबसे छोटा था। मौत की सूचना सुनकर उसके मझले भाई गौरव साव सहित पूरा परिवार गमजदा है। गौरव ही यहां सूरज का शव लेने के लिए आए थे। वह मौत को पूरी तरह संदिग्ध मान रहे हैं। उनका कहना है कि सीसीटीवी फुटेज देखने देखने से यही पता चलता है कि उनका भाई काफी ऊंचाई से गिरा हैं। वह कहते हैं कि वह ऊंचाई से गिरा तो उसके मुंह अथवा सिर से ब्लड क्यों नहीं निकला? आखिर पुलिस ने मौके पर पहुंचकर क्या जांच की और क्या पूछ-ताछ की। उन्होंने ऑनलाइन केस दर्ज कराने की बात भी कही है।

बुधवार को हुई थी मौत

झारखंड गिरिडीह के थाना धनवार के राजधांबाद के रहने वाले सूरज का शव चिलुआताल थाना एरिया के झुंगिया स्थित इंपीरियल अपार्टमेंट में बुधवार सुबह पाया गया था। बाद में मृतक को सीसीटीवी फुटेज में गिरते हुए देखा गया था। सीसीटीवी फुटेज से यह पता होता है कि मृतक कई मंजिल की ऊंचाई से गिर रहा है। लेकिन जहां शव मिला, उसकी सिधाई में कोई खिड़की टाप फ्लोर तक नहीं है। ऐसे में लोगों ने अनुमान लगाया कि मृतक छह मंजिला बिल्डिंग के टाप फ्लोर से गिरा होगा। इतना ही नहीं टाप फ्लोर छत की रेलिंग करीब चार फिट की है। ऐसे में हादसा का कोई मौका ही नहीं है।

आत्महत्या की कोई वजह नहीं

मृतक ने खुद यदि ऊंचाई से छलांग लगाई तो शरीर से ब्लड क्यों नहीं निकला? इतना ही नहीं दोपहर करीब 12 बजे घटना की जांच करने आई फोरेंसिक टीम ने बिल्डिंग से उस दूरी को नापा है, जहां शव मिला है। परिजन कहते हैं उसके पास आत्महत्या की कोई वजह नहीं थी। अपार्टमेंट प्रबंधक मानवेंद्र यादव कहते हैं कि सूरज सूरज जहां रहता था, वहां से कूदने का कोई चांस नहीं है। जहां उसका शव गिरा था, वह बिल्डिंग से करीब 20 फिट की दूरी पर है। सवाल यह है कि इतनी दूरी तक मृतक का शरीर कैसे पहुंचा होगा। इसके साथ तमाम सवाल मौत की गुत्थी को उलझा रहे हैं।

पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में सिर में चोट लगने से हुई मौत

पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में सूरज की मौत सिर पर चोट लगने के चलते हुई है। ऐसे में यह भी संभव है कि कहीं उसकी मौत पहले ना हो गई हो और उसे बाद में छत से फेंका गया हो, लेकिन अपार्टमेंट के 105 नंबर कमरे में सूरज के साथ रहने वाले हरियाणा के गुरदीप व जौनपुर के सिद्धार्थ का कहना है कि बुधवार सुबह उन्हें मृतक के गिरने के विषय में जानकारी हुई तो वह उसके पास गए। देखा तो उसकी सांसे चल रही थी। उनका कहना है कि उसके साथ में कंपनी के और भी लोग थे। सूरज के कमरे से एक डायरी मिली है, जिस पर सूरज ने कुछ शायरियां लिखी हैं। मृतक के साथियों के मुताबिक वह किसी लड़की से बातें करता था।

22 दिसंबर की रात में ही नहीं हुई थी मां से बात

मृतक के मझले भाई गौरव गुरुवार सुबह सूरज का शव झारखंड लेते गए। वह दोपहर करीब एक बजे घर पहुंच गए। बताया कि सूरज रोजना रात में करीब आठ बजे मां चंपा देवी व बहन जूही से बात करता था। लेकिन 22 दिसंबर की रात उसकी बात नहीं हुई थी। उसकी मां ने फोन किया था, लेकिन यहां काल रिसीव ही नहीं हुई थी और उसके दूसरे दिन सूरज के मौत की सूचना मिली। गौरव ने बताया कि पुलिस ने उससे शव ले जाने को कहा है। साथ ही यह भी कहा कि वह अंतिम संस्कार करके लौटेगा, तो उसकी तहरीर पर केस दर्ज कर लिया जाएगा। गौरव ने कहा कि वह शुक्रवार को ही मुदकमा दर्ज करने के लिए आनलाइन तहरीर देगा।

प्रथम दृष्टया यह मामला आत्महत्या का लग रहा है। फिर भी पुलिस कई बिन्दुओं को ध्यान में रखकर जांच कर रही है।

नीरज राय, इंस्पेक्टर चिलुआताल