लखनऊ (ब्यूरो)। चाचा नमस्कार, आपके आशीर्वाद से इस बार चुनावी मैदान में उतर रहा हूं। अगर आपके आशीर्वाद से जीत जाता हूं, तो वादा करता हूं कि वार्ड में हर तरफ आपको विकास नजर आएगा। आपसे निवेदन है कि अपने परिजनों और दोस्तों एवं रिश्तेदारों को भी मेरे पक्ष में वोट करने के लिए अपील कीजिएगाकुछ इस तरह से संभावित पार्षद प्रत्याशियों की ओर से वोटर्स को अपने पक्ष में लाने की कवायद की जा रही है। कई पार्षद प्रत्याशियों की ओर से तो डोर टू डोर कैंपेनिंग भी शुरू कर दी गई है।

अनुमान के आधार पर कैंपेनिंग

इस समय ज्यादातर पार्षद प्रत्याशियों की ओर से अनुमान के आधार पर कैंपेनिंग की जा रही है। चूंकि अभी परिसीमन तय नहीं है, इसकी वजह से अनुमान के आधार पर ही वोटर्स को अपने पक्ष में लाने की कवायद की जा रही है। पार्षद प्रत्याशियों की ओर से उन एरियाज पर विशेष फोकस किया जा रहा है, जो उनके वार्ड में ही रहेंगे। इसकी जानकारी कहीं न कहीं संभावित पार्षद प्रत्याशियों को हो गई है। वहीं परिसीमन आने के बाद अगर उनके वार्ड में कोई नया क्षेत्र जुड़ता है तो वहां के वोटर्स को अपने पक्ष में लाने के लिए नए सिरे से रणनीति बनाएंगे।

चुनाव प्रचार के लिए कम समय

अभी तक परिसीमन साफ नहीं है और पूरी संभावना है कि दिसंबर में निकाय चुनाव हो सकते हैैं। ऐसे में जितनी देर से परिसीमन आएगा, पार्षद प्रत्याशियों को चुनाव प्रचार के लिए उतना कम समय मिलेगा। इसे ध्यान में रखते हुए ही पार्षद प्रत्याशियों की ओर से ताकत झोंकने का काम शुरू कर दिया गया है। जिससे परिसीमन आने से पहले ही अधिक से अधिक वोटर्स को अपने पक्ष में ला सकें।

कांटेक्ट लिस्ट तैयार कर रहे

पार्षद प्रत्याशियों की ओर से कांटेक्ट लिस्ट तैयार की जा रही है। जिससे अधिक से अधिक वोटर्स से वे संपर्क कर सकें। इसके साथ ही पार्षद प्रत्याशियों की ओर से जगह-जगह अपने नाम के पंपलेट्स भी लगा दिए गए हैैं। हालांकि अभी इसमें भी कंफ्यूजन है। अगर उनके वार्ड की सीट महिला हो जाती है तो साफ है कि उनकी मेहनत पर पानी फिर सकता है। इसे ध्यान में रखते हुए कई पार्षद प्रत्याशियों ने इस आधार पर ही रणनीति बनाने का काम शुरू कर दिया गया है।