मेरठ ब्यूरो। राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र परिवहन निगम (एनसीआरटीसी) ने ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट (टीओडी) पर शुक्रवार को दो दिवसीय अंतराष्ट्रीय कार्यशाला आयोजित की। शहरी नियोजन योजना में क्रांति लाने के लिए यह पहल की गई। विश्व बैंक और एशियाई विकास बैंक की ओर से कार्यशाला में देश भर के विभिन्न शहरी परिवहन निगमों के प्रमुखों सहित दुनिया भर के प्रतिष्ठित वक्ताओं, पैनलिस्टों और प्रतिभागियों ने इसमें हिस्सा लिया।

परिवर्तनकारी बदलाव दिखेगा

तेजी से हो रहे शहरीकरण से उत्पन्न चुनौतियों के लिए टीओडी समाधान प्रदान करता है। इसमें कुशल सार्वजनिक परिवहन प्रणालियों पर केंद्रित कॉम्पैक्ट, मिश्रित-उपयोग विकास बनाने के लिए भूमि उपयोग और परिवहन के एकीकरण पर जोर दिया जाता है। बेहतर होंगी योजनाएं इस अवसर पर भारत सरकार के आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय के सचिव मनोज जोशी ने कहा कि कार्यशाला के दौरान होने वाली सामूहिक बुद्धिमत्ता और रचनात्मक चर्चाएं हमारी शहरी नियोजन प्रथाओं में परिवर्तनकारी बदलाव को प्रेरित करेंगी और भविष्य की परियोजनाओं को लाभान्वित करेंगी।

भीड़भाड़ और प्रदूषण होगा कम

इस दौरान एनसीआरटीसी के प्रबंध निदेशक विनय कुमार सिंह ने कहा कि एनसीआरटीसी द्वारा आयोजित इस कार्यशाला का उद्देश्य दुनिया भर के संगठनों द्वारा टीओडी नीतियों को लागू करने के अनुभवों और इस यात्रा के दौरान आने वाली चुनौतियों को साझा करने के लिए एक मंच प्रदान करना है। ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट को बढ़ावा देकर, हम शहरी फैलाव, भीड़भाड़ और प्रदूषण को प्रभावी ढंग से कम कर सकते हैं। किताब का अनावरण किया इस अवसर पर मनोज जोशी, विनय कुमार सिंह और एडीबी के कंट्री डायरेक्टर ताकेओ कोनिशी ने टीम एनसीआरटीसी द्वारा ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट पर निर्मित एक नॉलेज प्रोडक्ट किताब का भी अनावरण किया।

फ्रेमवर्क जारी किया गया

शहरों की विकास योजनाओं में टीओडी अपनाने के महत्व को पहचानते हुए राष्ट्रीय टीओडी नीति और राष्ट्रीय मूल्य कैप्चर फाइनेंसिंग (वीसीएफ) नीति फ्र मवर्क जारी किया। हालांकि टीओडी नीतियों के कार्यान्वयन में चुनौतियाँ अभी भी मौजूद हैं। कार्यशाला का उद्देश्य राज्य और क्षेत्रीय स्तर पर सफल टीओडी कार्यान्वयन को बढ़ावा देने के लिए इन चुनौतियों की पहचान करना और उनका समाधान करना है। इन्होंने भाग लिया इस कार्यशाला में दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन, उत्तर प्रदेश मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन, गुजरात मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन, हरियाणा मास रैपिड ट्रांसपोर्ट कॉर्पोरेशन, महाराष्ट्र मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन और रेल भूमि विकास प्राधिकरण सहित देश भर से कई एजेंसियों के लीडर्स ने भाग लिया।