- महामंडलेश्वर की हत्या के मामले में एसटीएफ कर रही थी छानबीन

- सभी 7 बदमाश गिरफ्तार, फिरौती के लिए किया गया था अपहरण

Meerut: महामंडलेश्वर की हत्या फिरौती की रकम तय होने से पहले ही कर दी थी। घटना को अंजाम देने में शामिल 7 बदमाशों को गिरफ्तार कर पुलिस ने यह खुलासा किया है। आईजी ने पूरे टीम को 15 हजार रुपए पुरस्कार देने की घोषणा की है।

हत्या के बाद कई टीमें लगाई गई

3 मई को महामंडलेश्वर राजेंद्र स्वरूप उनके ही घर के सामने से पांच बदमाशों ने अपहरण कर लिया था। 5 मई को मवाना के नंगला गोसाई गांव के जंगल में महामंडलेश्वर की लाश मिली थी। इसके बाद एसपी क्राइम और एसपी सिटी के निर्देशन में क्राइम ब्रांच, नौचंदी थाना की कई टीमों के साथ एसटीएफ की टीम घटना की पड़ताल में जुट गई थी।

आला कत्ल और वाहन बरामद

घटना में शामिल दो बदमाश धीरज और वीसू को पुलिस ने पहले ही गिरफ्तार कर लिया था। इसके बाद मुख्य आरोपी दर्शन गुर्जर को भी गिरफ्तार कर लिया गया। रविवार को शास्त्रीनगर स्थित नेशनल बैंक के सामने से पुलिस की टीम ने बाकी चार बदमाशों को भी गिरफ्तार कर लिया, जिनमें संजय पुत्र नत्थू निवासी इंचौली, प्रवेंद्र उर्फ राणा पुत्र गजे सिंह निवासी पिपलहेडा थाना खतौली, राहुल पुत्र महेंद्र सिंह निवासी परीक्षितगढ़ और राहुल सिंह पुत्र भीम सिंह निवासी नानपुर जिला हापुड़ शामिल हैं। पुलिस ने इनके पास से 32 बोर का 1 पिस्टल व 4 जिंदा कारतूस, 315 बोर के 3 तमंचे व 5 जिंदा कारतूस, अपहरण में शामिल ऑल्टो कार ओर महेंद्रा पिक अप बरामद की है।

धीरज को सारी जानकारी थी

पूछताछ में पता चला कि धीरज महामंडलेश्वर के पास तांत्रिक क्रिया सीखने के लिए आता था। उसे महामंडलेश्वर के पास के पैसे की जानकारी थी। धीरज की दोस्ती वीसू अग्रवाल और दर्शन से थी। करीब 20 दिन पहले दर्शन ने पैसे की परेशानी बताई। इस पर धीरज व वीसू ने महामंडलेश्वर के अपहरण की योजना बनाई। घटना वाली रात धीरज और वीसू महामंडलेश्वर के बाहर निकलने का वेट कर रहे थे। जैसे ही महामंडलेश्वर घर से बाहर निकले धीरज ने दर्शन को फोन से सूचना दे दी।

दर्शन और संजय ने मारी थी गोली

महामंडलेश्वर को दर्शन और संजय असलहे के बल पर अपने आप को एसटीएफ का बताकर ऑल्टो कार में अपहरण कर ले गए। महामंडलेश्वर को लेकर ऐंचीखुर्द स्थित संजय के मामा ट्यूबवेल के जंगल में ले गए। महामंडलेश्वर ने उनसे जानकारी चाही तो बदमाशों ने फिरौती के लिए उनके अपहरण की बात कही, जिसके बाद बचाव के लिए महामंडलेश्वर शोर मचाने और बदमाशों से हाथापाई करने लगे। इसी बीच धीरज और संजय ने महामंडलेश्वर पर फायर झोंक दिया, जिससे उनकी मौके प र ही मौत हो गई।

फिरौती के लिए ही महामंडलेश्वर की हत्या की गई थी। महामंडलेश्वर ने उनसे बचने के लिए हाथापाई की, जिसके बाद बदमाशों ने उनकी हत्या कर दी। हत्या में शामिल सभी को पकड़ लिया गया है। आईजी ने टीम को 15 हजार रुपए कैश और अधिकारियों को प्रशस्ति पत्र देने की घोषणा की है।

- डीसी दूबे, एसएसपी