देहरादून (ब्यूरो) करीब एक सप्ताह पहले डीजीपी ने पार्किंग को लेकर अधिकारियों को निर्देश दिए थे। साफ कहा था कि जिन कॉमर्शियल भवनों को एमडीडीए द्वारा बेसमेंट पार्किंग व कॉम्प्लेक्स पार्किंग की अनुमति दी गई है। उनमें पार्किंग करवाना सुनिश्चित करें। इसके लिए व्यापारियों से भी बात की जाए। वहीं, स्कूल कॉलेजों में ट्रैफिक प्रेशर कम करने के लिए गोष्ठियां की जाएं। बताया जा रहा है कि दून ट्रैफिक पुलिस अब इसको लेकर जुटी हुई है। इसके लिए सर्वे पूरा कर रिपोर्ट तैयार की जा रही है। रिपोर्ट तैयार करने के लिए ट्रैफिक पुलिस को 4 ट्रैफिक इंस्पेक्टर और एक-एक एसआई की टीमें पिछले एक सप्ताह से जुटी हैं। माना जा रहा है कि जैसे ही रिपोर्ट तैयार होती है, उसके बाद मुख्यालय को सौंप कर इसकी पर कार्रवाई सुनिश्चित की जा सकती है।

हमें पेड नहीं, फ्री पार्किंग चाहिए
दून में पार्किंग की समस्या मुसीबत नहीं है। पुलिस की मदद से कई इलाकों में पेड पार्किंग के इंतजाम किए गए हैं। लेकिन, वाहन चालक हैं कि पेड पार्किंग में वाहन पार्क करने के बजाय फुटपाथ पर वाहन पार्क करने से बाज नहीं आ रहे हैं। यही कारण है कि पहले से संकरी सड़कों से जूझ रहे दून में ट्रैफिक व्यवस्था लगातार बदहाल हो रही है। जिसका खामियाजा आम लोगों को भुगतना पड़ रहा है। अब ये नजारा आप खुद देखिए। न्यू रोड द्वारिका स्टोर के पास में लोगों ने फुटपाथ पर ही अपने वाहन पार्क कर दिए हैं। जबकि, बगल में ही पेड पार्किंग की सुविधा मौजूद है।

कॉम्लेक्स ने बेसमेंट पार्किंग खरीद ली
न्यू रोड का ही ये नजारा है। एक निजी फर्म ने बेसमेंट पार्किंग को अपने कार्मिकों के लिए खरीद लिया है। जिससे कि दूसरे वाहन चालक इसमें कोई भी वाहन पार्क न कर पाएं। नतीजतन, इस ऑफिस में आने वाले वाहन चालकों को सड़क या फिर फुटपाथ पर पार्किंग करने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है।

कई बार हो चुके हैं एक्सपेरिमेंट्स
पार्किंग को लेकर दून में एक नहीं सैकड़ों की तादाद में एक्सपेरिमेंट्स हो चुके हैं। कभी चौक-चौराहों पर पुलिस बूथ खाली करवाए गए। कभी नो पार्किंग जाने में खड़े वाहनों को हटाने के लिए ड्रोन की मदद ली गई तो कभी वॉलिंटियर्स को ट्रेंड करने की बात कही गई। इसके अलावा कई रूट्स पर वाहनों की नो एंट्री कराई गई। रिजल्ट कुछ भी सामने नहीं आया।

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