-उत्तराखंड के लेफ्टिनेंट राजेंद्र सिंह बिष्ट को मिला स्वॉर्ड ऑफ ऑनर

>DEHRADUN: एक ओर जहां उत्तराखंड ने देश को भ्ख् जांबाज देने का गौरव हासिल किया, वहीं लगातार दूसरी ओर स्वॉर्ड ऑफ ऑनर सम्मान भी उत्तराखंड के नाम रहा। सर्वश्रेष्ठ जांबाज के रूप में स्वॉर्ड ऑफ ऑनर का सम्मान उत्तराखंड के राजेंद्र सिंह बिष्ट को मिला। यह सम्मान लगातार दूसरी बार उत्तराखंड के नाम रहने से प्रदेश का गौरव और बढ़ गया। राजेंद्र सिंह बिष्ट अल्मोड़ा रानीखेत के गांव कपाड़ी के निवासी हैं।

राजेंद्र की दो पुश्तें कर रही देश की सेवा

आईएमए में पासिंग आउट परेड का अंतिम पग पार करने के बाद राजेंद्र सिंह बिष्ट कैडेट्स से लेफ्टिनेंट बन गए, वहीं स्वॉर्ड ऑफ ऑनर के लगातार दूसरी बार आने से उत्तराखंड का गौरव भी बढ़ गया। राजेंद्र सिंह बिष्ट की दो पुश्तें देश की सेवा कर रही है और उन्हें विरासत में ही देश की सेवा करने का हौसला मिला है।

बचपन में ही रख दी थी देश सेवा की नींव

राजेंद्र सिंह बिष्ट ने प्रारंभिक शिक्षा सैनिक स्कूल घोड़ाखाल रानीखेत में की। आठवीं करने करने के बाद क्ख्वीं केवी से की। इस दौरान ही उनकी सेना में जाने की तैयारी शुरू हो गई थी। राजेंद्र सिंह बिष्ट शुरू से ही हर क्षेत्र में अव्वल आने की चाह रखते थे और इसी चाह ने उन्हें स्वॉर्ड ऑफ ऑनर सम्मान ि1दलाया है।

परिवार कर रहा है देश की सेवा

लेफ्टिनेंट राजेंद्र सिंह बिष्ट के पिता गोपाल सिंह बिष्ट भी सेना में ही सेवा दे रहे हैं। इसके अलावा चाचा बलवीर सिंह बिष्ट भी सेना में हैं। यही नहीं राजेंद्र के मामा भी सेना में रहकर देश की सेवा कर रहे हैं। राजेंद्र सिंह बिष्ट के परिवार के कुल छह सदस्य सेना में हैं। वहीं यदि परिवार के इतिहास की बात करें तो दो पुश्तें देश की सेवा करती आ रही है।

बहुमुखी प्रतिभा ने बनाया सर्वश्रेष्ठ

लेफ्टिनेंट राजेंद्र सिंह बिष्ट को एक या दो में नहीं, बल्कि कई खेलों में महारथ हासिल है। वह हॉकी, तैराकी, बास्केटबॉल व क्रासकंट्री में बेहतरीन प्रदर्शन रहा है। हर क्षेत्र में आगे रहने पर ही उन्हें स्वॉर्ड ऑफ ऑनर सम्मान से नवाजा गया है। राजेंद्र सिंह बिष्ट कहते हैं कि सफलता तभी मिलती है, जब उसके लिए मेहनत की जाए। सपने देखने से नहीं, हार्ड वर्किंग करने से पूरे होते हैं। आज उन्हें गर्व है कि उन्हें देश की सेवा करने का मौका मिला है। वह अपनी सफलता के का श्रेय अपने माता-पिता के साथ-साथ अपनी टीचर सोनी पांडे्य को भी देते हैं।