मजबूत लोकपाल के लिए रामलीला मैदान में अनशन पर बैठे अन्ना हजारे ने मंगलवार को जनता को संबोधित किया. उन्होंने कहा कि हमें अभी तक असली आजादी नहीं मिली है.

अन्ना ने कहा कि क्रांति की मशाल आपने जलाई है लेकिन  अभी तक असली आजादी नहीं मिली है. उन्होंने कहा, "अनशन का आठवां दिन है. मेरे जीवन में हमेशा पीछे भगवान खड़ा है. कार्यकर्ताओं से विनती है कि वे शुद्द आचार, शुद्द विचार, जीवन में त्याग है और अपमान पीने की शक्ति की रखें. यदि आप ऐसा करते हैं तो भगवान आपके पीछे खड़ा होगा."

अन्ना ने कहा कि हम अहिंसा से लड़ाई जीतेंगे. उन्होंने कहा, "साढे़ पांच किलो वजन कम हो गया बांकि कोई परेशानी नहीं है. 1857 में आजादी की लड़ाई शुरु हुई और जो 1947 में आजादी मिली वो असली नहीं थी. आजादी अभी भी महसूस नहीं हो रही है. जनता को सही आजादी मिले इसलिए यहां बैठा हूं."

अन्ना ने कहा कि 35 साल हो गए अभी तक घर नहीं गया. तीन भाई हैं लेकिन उनके बच्चों के नाम नहीं मालूम है. उन्होंने कहा, "मैंने तय किया है सर कटा सकते हैं लेकिन सर झुका नहीं सकते..खुद के लिए जिदा रहने वाले हमेशा मरते हैं. हार्ट अटैक से लोग मर जाते हैं ऐसा मृत्यु आने के बजाय देश की भलाई के लिए मौत आ जाए तो मेरा सौभाग्य होगा.  मेरी विनती है देश के सामने कई प्रश्न है, किसानो, मजदूरों आदिवासी के प्रश्न है लेकिन देश को आगे ले जाने के लिए करप्शन को रोकना जरुरी है. पहले गांव बदलना होगा. मैं भाषण नहीं दे रहा हूं बल्कि जो किया है वो बता रहा हूं." 

अन्ना ने कहा कि लोकपाल बिल की ज्वाइंट कमेटी ने हमें धोखा दिया है. सिर्फ चार-छह लोग देश को चला रहे हैं. लोकसभा और विधानसभा से ऊंची हैं ग्रामसभा. लोकसभा और विधानसभा की जननी है ग्रामसभा. जनलोकपाल बिल के लिए ग्रामसभा का सुझाव लें. छात्रों से विनती हैं कि रास्ते पर उतरने का समय आ गया है.    

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Posted By: Kushal Mishra