सरकारी नौकरियों में चुने गए आवेदकों के लिए केंद्र सरकार अनिवार्य पुलिस सत्यापन की जगह स्व हस्ताक्षरित प्रमाणपत्रों को मान्यता देने पर विचार रही है. गृह मंत्रालय के अधिकारियों के मुताबिक सरकारी नौकरियों में चुने गए आवेदकों और पासपोर्ट के लिए आवेदन करने वालों को पुलिस सत्यापन से छूट दिलाने के मुद्दे पर विचार किया जा रहा है. गृह मंत्रालय इस बारे में राज्य सरकारों और संबद्ध पक्षों के भी दृष्टिकोण भी ले सकता है.


वेरिफिकेशन के लिए लागू हो दूसरी व्यवस्थाकार्मिक, लोक शिकायत और पेंशन विभाग ने भी एक अवधारणा नोट में सिफारिश की है कि सरकारी नौकरियों और पासपोर्ट में पुलिस सत्यापन की जगह दूसरी व्यवस्था लागू की जाए.इस नोट में तीन बातें कहीं गईं हैं. 1. पुलिस जांच तभी जरूरी हो यदि व्यक्ति किसी आपराधिक मामले से  ताल्लुक रखता हो और उसने गलत घोषणाएं कर रखी हों2. यह जांच पूरी तरह प्रमाणिक नहीं होती क्योंकि पुलिस किसी व्यक्ति के केवल अंतिम आवास का पता लगाती है.3. इस तरह की जांच में आवेदक के पड़ोसियों की भूमिका बहुत कम होती है. सरकारी सेवाओं में सुधार के लिए केन्द्र नोटरी द्वारा प्रमाणित प्रमाणपत्रों की जगह स्वहस्ताक्षरित प्रमाणपत्रों को बढ़ावा दे रहा है. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी हाल ही में प्रमाणपत्रों के कम सेकम इस्तेमाल और स्वहस्ताक्षरित प्रमाणपत्रों की व्यवस्था लागू करने की इच्छा जताई थी.

Posted By: Satyendra Kumar Singh